उत्तर प्रदेश

बड़ी खबर: यूपी में आज से प्लास्टिक व थर्माकोल से बने कप, प्लेट व बर्तनों पर लगा प्रतिबंध

यूपी में 15 अगस्त से प्लास्टिक व थर्माकोल से बने थाली, कप, प्लेट, कटोरी व गिलास के प्रयोग प्रतिबंध लग गया है। ये फैसला आज स्वतंत्रता दिवस से लागू हो गया। आपको बता दें कि इसके पहले 15 जुलाई को प्रदेश में 50 माइक्रॉन से कम की पॉलीथीन के प्रयोग पर रोक लगाई गई थी। जिसको लेकर अध्यादेश भी जारी किया गया था।

दरअसल, प्रदेश में तीन चरणों में पूरी तरह प्लास्टिक बैन की योजना बनाई गई है। 15 जुलाई से सिर्फ 50 माइक्रॉन तक के पॉलिथीन व उससे बने कैरीबैग पर प्रतिबंधित करने का फैसला किया गया था। दूसरे चरण में 15 अगस्त से प्लास्टिक व थर्माकोल से बनी थाली, कप, प्लेट, कटोरी, गिलास आदि के प्रयोग को बैन किया गया।

तीसरे चरण में 2 अक्तूबर से प्रदेश में ऐसे सभी तरह के प्लास्टिक को प्रतिबंधित करने का फैसला किया गया है जो डिस्पोजेबल नहीं हैं। इस फैसले के बाद पॉलिथीन पर प्रतिबंध लगाने वाला यूपी देश का 19वां राज्य हो गया है।

प्रतिबंध के बाद पॉलीथीन का प्रयोग करने पर कड़ी सजा का प्रावधान किया गया है। इस संबंध में पेश किए गए अध्यादेश को भी मंजूरी दी जा चुकी है।

ये है अध्यादेश व सजा का प्रावधान

‘उप्र. प्लास्टिक और अन्य जीव अनाशित कूड़ा कचरा (उपयोग और निस्तारण का विनियमन) (संशोधन) अध्यादेश-2018’ में सजा के प्रावधानों को और कठोर बनाया गया है। इसमें प्रतिबंधित सामग्री का प्रयोग करने वालों की तुलना में कारोबार करने वालों के लिए कठोर दंड का प्रावधान किया गया है।

अध्यादेश में पॉलिथीन या प्लास्टिक की सामग्री के प्रयोग पर प्रतिबंध का पहली बार उल्लंघन पर एक माह की सजा या न्यूनतम एक हजार और अधिकतम 10 हजार रुपये तक जुर्माना देना होगा। दूसरी बार के उल्लंघन पर छह माह की जेल या न्यूनतम 5 हजार व अधिकतम 20 हजार रुपये तक जुर्माना देना होगा।

इसी तरह  प्लास्टिक के कैरीबैग के विक्रय, वितरण, उत्पादन, भंडारण और परिवहन पर लगे प्रतिबंध का पहली उल्लंघन करने पर छह माह की जेल या न्यूनतम 10 हजार व अधिकतम 50 हजार तक का जुर्माना देना होगा। दूसरी बार उल्लंघन पर एक वर्ष तक की सजा एवं न्यूनतम 10 हजार व अधिकतम एक लाख रुपये तक का जुर्माना देना होगा।

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