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संचारी रोग से भी डटकर मुकाबला करेंगे : मुख्यमंत्री योगी

लखनऊ : संचारी रोग नियंत्रण अभियान के दूसरे चरण का मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने बुधवार को शुभारम्भ किया। 31 जुलाई तक चलने वाले स्वास्थ्य विभाग के इस अभियान का अपने सरकारी आवास पर आयोजित कार्यक्रम का आगाज करते हुए मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि जन-जन को स्वस्थ रखना ही सरकार का लक्ष्य है। बरसात के मौसम में बीमारियों की सम्भावनाएं भी ज्यादा बढ़ जाती हैं। विशेष तौर पर विषाणुजनित व जलजनित बीमारियां थोड़ी सी असावधानी से किसी भी व्यक्ति को अपने आगोश में ले सकती हैं। इंसेफेलाइटिस, मलेरिया, फाइलेरिया, डेंगू, काला अजार, चिकनगुनिया और डायरिया आदि बीमारियां थोड़ी सी असावधानी से किसी के लिए भी जानलेवा साबित हो सकती हैं। इसलिए इनके प्रति जनजागरुकता के व्यापक अभियान के साथ ही, बचाव के व्यापक कार्यक्रम को आगे बढ़ाना है। छोटे से अभियान से कैसे व्यापक पैमाने पर जनहानि को रोका जा सकता है, प्रदेश में तीन वर्षों के दौरान हुए कार्यक्रम इसी के उदाहरण हैं।

उन्होंने कहा कि कोरोना को नियंत्रित करने में भी स्वच्छता की बड़ी भूमिका है। हम कोरोना की तरह की संचारी रोग से भी डटकर मुकाबला करेंगे। उन्होंने आम लोगों से अपील की कि अनलॉक को हल्के में ना लें, क्योंकि लोग अगर सावधानी नहीं बरतेंगे तो करोना का प्रसार तेजी से बढ़ेगा। उन्होंने स्वास्थ्य महकमे की तारीफ करते हुए कहा कि कोरोना महामारी में उत्तर प्रदेश जैसे बड़ी आबादी वाले राज्य में बहुत बेहतर काम हुआ है। आज कोविड-19 अस्पतालों में करीब डेढ़ लाख बेड हैं। जल्द जांच को बढ़ाकर 30 हजार प्रतिदिन किया जाएगा।

कल से मेरठ मंडल में घर-घर जाकर मेडिकल स्क्रीनिंग होगी। सर्विलांस सिस्टम मौत के आकड़ों को रोकने में कारगर हैं। हम एक-एक व्यक्ति की स्क्रीनिंग करेंगे। इससे आंकड़े बढ़ेंगे पर मौत के आंकड़े गिरेंगे। मुख्यमंत्री ने कहा कि वर्ष 2016 में प्रदेश में सिर्फ इंसेफेलाइटिस से 600 से अधिक मौतें हुई थीं। 2017 में भी 600 से अधिक मौतें हुईं। लेकिन 2018, 2019 के आंकड़ों को अगर आप देखेंगे तो उनमें लगातार घटोत्तरी हुई और 2019 में यह घटकर केवल 126 हो गई। जिस एक बीमारी ने पूर्वी उत्तर प्रदेश में पिछले 40 वर्षों में हजारों बच्चों को निगल लिया हो, उस बीमारी को 60 प्रतिशत और मौत के आंकड़ों को 90 प्रतिशत कम करने में सफलता प्राप्त हो तो यह अपने आप में एक उपलब्धि है। उन्होंने कहा कि इस उपलब्धि को हासिल करने में इस वजह से भी सफलता मिली है क्योंकि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने 2014 में स्वच्छ भारत मिशन का आरम्भ किया।

स्वच्छ भारत मिशन के कारण हर गांव, हर घर में शौचालय बने। खुले में शौच के कारण होने वाली गंदगी ही एक्यूट इंसेफेलाइटिस सिंड्रोम का कारण बनी। खुले में शौच से मुक्ति के लिए अभियान चलाया गया तो उन क्षेत्रों में बीमारियों को रोकने में हम सफल हुए। मुख्यमंत्री ने कहा कि बेहतर सर्विलांस से स्वास्थ्य विभाग ने इसमें सफलता प्राप्त की। यदि कोई बच्चा बीमार होता था तो समय पर पीएचसी, सीएससी या जिला अस्पताल में उसका उपचार करने की व्यवस्था व अधिक समस्या होने पर हायर सेंटर ले जाकर उसे बेहतर उपचार दिया गया और सुरक्षित किया गया। इसका परिणाम रहा कि पूरे प्रदेश में इंसेफेलाइटिस को पूरी तरह नियंत्रित करने में सफलता प्राप्त हुई।

इसी प्रकार हम सबको डेंगू, काला अजार, मलेरिया, चिकनगुनिया, आदि सभी के लिए अभियान चलाकर कार्य करना होगा। उन्होंने कहा कि प्रदेश का कोई न कोई जनपद किसी न किसी संचारी रोग की कम या ज्यादा चपेट में रहता है। 38 जिले ऐसे हैं जो केवल इंसेफेलाइटिस से प्रभावित रहते हैं। इन सब पर प्रभावी अंकुश के लिए अंतर्विभागीय समन्वय स्थापित कर, स्वास्थ्य विभाग को नोडल विभाग बनाकर यह कार्यक्रम चलाया गया है। इसमें नगर विकास, ग्राम्य विकास, पंचायती राज, बेसिक शिक्षा, माध्यमिक शिक्षा, दिव्यांगजन कल्याण विभाग को एक साथ जोड़कर, हर विभाग अपने स्तर पर कार्यों को आगे बढ़ा सके इस दृष्टि से कार्यक्रम आरंभ हुआ है। उन्होंने कहा कि स्वास्थ्य विभाग ने कोरोना की जंग में बेहतर लड़ाई लड़ने के साथ पूरी दुनिया में व देश में उत्तर प्रदेश जैसे बड़ी आबादी वाले राज्य के लिए बेहतरीन स्वास्थ्य सुविधाएं देने का प्रयास अपने स्तर पर प्रारंभ किया।

हर एक विभाग ने लगकर इस पूरे कार्यक्रम को आगे बढ़ाया और उत्तर प्रदेश में 24 करोड़ लोग कोरोना कालखंड में भारत सरकार के सहयोग से पूरी तरह से अपने आपको सुरक्षित महसूस कर रहे हैं। मुख्यमंत्री ने कहा कि हम कोरोना से भी लड़ेंगे और हर प्रकार के संचारी रोगों को भी प्रभावी ढंग से रोकेंगे, इस दृढ़ निश्चय के साथ आज जो अभियान प्रारंभ हो रहा है, इसके लिए स्वास्थ्य विभाग व सभी संबंधित विभाग अपने-अपने कार्यों को युद्धस्तर पर करें।

उन्होंने कहा कि कोरोना से बचाव ही इसका उपचार है। हम कोरोना से सतर्कता बरतें, बचाव करें, यही इसका सबसे अच्छा माध्यम है। मुख्यमंत्री ने लोगों से अपील करते हुए कहा कि घर से बाहर निकलें तो मास्क पहनें, दो गज की दूरी अनिवार्य रूप से बनाए रखें। इसके साथ ही साफ-सफाई पर विशेष ध्यान देने की आवश्यकता है। इससे न केवल कोरोना बल्कि अन्य तमाम प्रकार की बीमारियों से भी हमारा बचाव होगा। मुख्यमंत्री ने इस अवसर पर विशेष सफाई दल को हरी झंडी दिखाई। यह सफाई दल पूरे प्रदेश में गांव और मोहल्ले में जाकर सफाई और सैनिटाइजेशन का काम करेगा। लोगों को उल्टी, दस्त जेई व एईएस आदि संचारी रोग से बचाने के लिए उन्हें जागरूक किया जाएगा।

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