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AAP का आरोप- पुलिस के दबाव में जैन ने बदला बयान, आज विधायकों की जमानत पर सुनवाई

राजधानी दिल्ली में मुख्य सचिव मारपीट मामला अभी थमा नहीं है. दिल्ली की तीस हजारी कोर्ट ने इस मामले में आम आदमी पार्टी के दो विधायकों को 14 दिनों की न्यायिक हिरासत में भेज दिला. हालांकि, कोर्ट आप विधायक प्रकाश जारवाल और अमानतुल्ला खान की जमानत पर आज सुनवाई कर सकती है. आम आदमी पार्टी की ओर से दिल्ली पुलिस के दबाव में वीके जैन पर बयान बदलने का आरोप है.

गुरुवार को आम आदमी पार्टी और भारतीय जनता पार्टी की ओर से एक दूसरे के खिलाफ जुबानी तीर और प्रदर्शन का सिलसिला जारी रहा. आप कार्यकर्ताओं ने इस मसले पर गृहमंत्री राजनाथ सिंह के घर का घेराव किया और प्रदर्शन किया. तो वहीं बीजेपी कार्यकर्ताओं ने दिल्ली के उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया के घर पर प्रदर्शन किया.

इसके अलावा आप सरकार के मंत्री राजेंद्र पाल गौतम और अन्य आप कार्यकर्ताओं को केंद्रीय गृहमंत्री राजनाथ सिंह के आवास की ओर बढ़ते हुए हिरासत में ले लिया गया था. वह अंशु प्रकाश द्वारा अंबेडकर नगर के विधायक अजय दत्त के खिलाफ कथित रूप से जातिसूचक शब्दों का इस्तेमाल करने के विरोध करने जा रहे थे.

आम आदमी पार्टी की तरफ से आरोप लगाया गया है कि दिल्ली पुलिस के दबाव में आकर मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के सलाहकार वीके जैन ने अपना बयान बदला है.

वीके जैन ने बदला बयान?

आपको बता दें कि वीके जैन (रिटायर्ड आईएएस) दिल्ली के मुख्यमंत्री के सलाहकार हैं, जिन्हें बुधवार को दिल्ली पुलिस ने उनसे पूरे प्रकरण पर पूछताछ की थी. उनका काम मुख्यमंत्री की बैठक का समन्वय करना है. पुलिस ने बुधवार की सुबह उनके आवास से पूछताछ के लिए बुलाया था. मुख्य सचिव अंशु प्रकाश ने अपनी शिकायत में जैन के नाम का उल्लेख किया था.

लेकिन जैन ने पुलिस के सामने यह माना था कि उनके सामने किसी तरह की मारपीट की घटना हुई थी. हालांकि पुलिस की तरफ से सरकारी वकील ने गुरुवार को जैन की ओर से दिए गए बयान को कोर्ट के सामने पेश किया, और कहा कि कि हमारे पास वीके जैन का 164 का स्टेटमेंट है, जिसमें उन्होंने कहा है कि मुख्य सचिव अंशु प्रकाश को प्रकाश जरवाल और अमानतुल्ला खान ने घेरा हुआ था, उनके साथ मारपीट की और उसमें मुख्य सचिव का चश्मा भी गिर गया.

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