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आतंकी हमला: अब एयरबेस में उभरी लापरवाही, उठे 4 सवाल?

airbase-security-and-pathankot-terror-attack-5693657640f8f_exlstपठानकोट आतंकी हमले से पहले एयरबेस कैंप की भीतरी और बाहरी सुरक्षा में लापरवाही सामने आ रही है। एनआईए की टीम चार मुख्य बिंदुओं पर फोकस कर रही है।जांच का फोकस जहां बमियाल बॉर्डर की तरफ है वहीं बेस कैंप में लापरवाही की जांच भी शुरू हो गई है। यह चारों एयरबेस में लापरवाही और कोताही के हैं। बता दें कि आतंकी हमले के बाद एयरबेस का जायजा लेने पहुंचे रक्षा मंत्री मनोहर परिकर ने तो साफ ही कह दिया था कि एयरबेस कैंप की सुरक्षा व्यवस्था में चूक हुई थी। एनआईए यह जांच कर रही है कि यह चूक लापरवाही थी या फिर एक साजिश का हिस्सा।

1.अलर्ट के बावजूद सुरक्षा कड़ी नहीं: दो जनवरी को शाम तक खुफिया एजेंसियों को पता चल गया था और आईबी व आर्मी इंटेलिजेंस ने साफ कर दिया था कि आतंकियों का निशाना पठानकोट कैंट या फिर पठानकोट एयरबेस है। इसके बावजूद संवेदनशील बेसकैंप में कमांडो की तैनाती क्यों नहीं की गई। बेस कैंप के चारों तरफ घेरा डालकर आर्मी क्यों नहीं लगाई गई। सुरक्षा डीएससी के हवाले ही क्यों रखी गई। अंदरूनी सुरक्षा को लेकर क्या ठोस कदम उठाए गए।

2.जानबूझकर तो नहीं काटे गए कंटीले तार?: एयरफोर्स स्टेशन का एक हिस्सा हिमाचल में पड़ता है और इस हिस्से में गांव बेली महंता के जाने वाले रास्ते में लगते बेसकैंप की लंबी दीवार के तीनों पावर बल्ब गायब हैं। यह सुरक्षा व्यवस्था पर एक बड़ा सवाल है। यह खामी आतंकवादियों की मददगार बनी है। इसके अलावा इस पर भी फोकस किया जा रहा है कि एयरबेस कैंप की दीवार पर लगे कंटीले तार जानबूझकर तो नहीं काटे गए।

3. सफाई में भी चूक: एयरबेस कैंप के 24 किलोमीटर के दायरे में गांव धीरा की तरफ का इलाका ऐसा है, जहां पर बिल्कुल सफाई नहीं करवाई गई। आशंका है कि इसी इलाके में एमबी नाले की तरफ से आतंकवादी एयरबेस कैंप के भीतर घुसने में कामयाब हुए।

4. एयरबेस का जयचंद कौन?: एनआईए इस बात की भी जांच कर रही है कि एयरबेस कैंप के अंदर आतंकियों का मददगार कौन है। एनआईए को काफी इनपुट और सुराग मिल गए हैं और कड़ियों को आपस में जोड़ा जा रहा है। एनआईए की टीम ने रविवार को एयरबेस कैंप के भीतर इन चारों प्वाइंट्स पर अपना होमवर्क किया और इसकी तह तक जाने की कोशिश जारी है।

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