उत्तर प्रदेश में पोर्टेबिलिटी के लिए तीन दिन तक बंद रहेगी राशन की वेबसाइट
लखनऊ : राशन कार्ड पोर्टेबिलिटी की सुविधा देश भर में जून से देने से पहले फरवरी से इसे प्रदेश में लागू करने के लिए खाद्य रसद विभाग ने तैयारियों को अंतिम रूप देना शुरू कर दिया है। विभाग ने फिलहाल अपनी वेबसाइट तीन दिन के लिए 29 जनवरी तक बंद कर दी है। अधिकारी अब प्रदेश भर के राशन उपभोक्ताओं का डेटा केंद्रीय राशन कार्ड मैनेजमेंट सिस्टम में माइग्रेट करा रहे हैं। खाद्य आयुक्त मनीष चौहान ने बताया कि फरवरी से प्रदेश के सभी 75 जिलों के शहरी व ग्रामीण क्षेत्रों में एक समान राशन कार्ड पोर्टेबिलिटी लागू करने की व्यवस्था को अंतिम रूप दिया जा रहा है। इससे पहले विभाग जनवरी में राज्यस्तरीय पोर्टेबिलिटी को आजमा चुका है। खाद्य रसद विभाग ने इस महीने छह जिलों लखनऊ, कानपुर, उन्नाव, रायबरेली, हापुड़ व गौतमबुद्धनगर में पोर्टेबिलिटी का पायलट प्रोजेक्ट चलाया था। इसमें लखनऊ-रायबरेली, कानपुर-उन्नाव तथा हापुड़-गौतमबुद्धनगर का दो-दो जिलों का क्लस्टर बनाकर परीक्षण किया गया था।
अपर आयुक्त खाद्य अनिल कुमार दुबे ने बताया कि पायलट प्रोजेक्ट के दौरान किसी तरह की समस्या या बाधा नहीं आई है, जबकि क्लस्टर में एक जिले के उपभोक्ताओं ने दूसरे जिलों से राशन भी प्राप्त किया है। इससे पहले विभाग ने जिलों के भीतर ग्रामीण व शहरी क्षेत्रों में अलग-अलग पोर्टेबिलिटी को लागू कर रखा था। इसमें पोर्टेबिलिटी का लाभ लेने वाले उपभोक्ताओं के लिए महीने के बीच में खाद्यान्न पहुंचाने के अलावा कोई और चुनौती नहीं आई थी। अधिकारियों ने पांच फरवरी से वितरण शुरू होने के साथ ही प्रदेश में पोर्टेबिलिटी शुरू होने का दावा किया है।