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किसान कर्जमाफी पर दोनों सदनों में हंगामा

मुंबई: किसान कर्जमाफी के मुद्दे पर विपक्ष ने मानसून सत्र के पहले ही दिन विधानमंडल के दोनों सदनों में जमकर हंगामा किया। विपक्ष का आरोप था कि सरकार किसान कर्जमाफी के लिए तरह-तरह की शर्तें लगा रही है। किसानों को कर्जमाफी का लाभ देने की बजाय केवल टाइम पास किया जा रहा है।विधान परिषद में विपक्ष के सदस्यों ने वेल में आकर सरकार के खिलाफ नारेबाजी की।  
किसान कर्जमाफी पर दोनों सदनों में हंगामा-जवाब में मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने कहा कि सरकार इस मसले पर चर्चा को तैयार है। इस बीच सरकार की तरफ से साढ़े 33 हजार करोड़ रुपए की पूरक मांगें पेश की गईं। इसमें से 20 हजार करोड़ रुपए किसान कर्जमाफी के लिए होंगे।
-विधानसभा में कामकाज शुरू होते ही राकांपा गट नेता और पूर्व उपमुख्यमंत्री अजित पवार ने कहा कि सरकार ने कर्जमाफी का ऐलान तो कर दिया, लेकिन किसानों को अब तक कर्जमाफी नहीं मिली। रोजाना किसान आत्महत्या कर रहे हैं।
-वहीं मुख्यमंत्री ने कहा कि सरकार इस मुद्दे पर कभी भी चर्चा के लिए तैयार है। कर्जमाफी के लिए पूरक मांगों में 20 हजार करोड़ रुपए का प्रावधान किया गया है। अजित पवार ने सरकार पर हमला करते हुए कहा कि हमें तुरंत जानकारी दी जाए कि दस हजार रुपए कितने किसानों को दिए गए और कितने जिला बैंकों ने ये पैसे दिए।
 
कर्जमाफी के लिए अर्जी क्यों: विखेपाटील
-विधानसभा में विरोधी पक्ष नेता राधाकृष्ण विखे पाटील ने कहा कि सरकार के पास सारे आंकड़े हैं तो किसानों से कर्जमाफी की अर्जी भरवाने का क्या औचित्य है।
-इसके बाद नारेबाजी करते हुए विपक्षी सदस्यों ने सदन का बहिष्कार कर दिया। विपक्ष के आरोपों का जवाब देते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि वे चर्चा और सारे सवालों के जवाब देने को तैयार हैं।
 
कहां से आएंगे 14 हजार करोड़
-विधान परिषद में राष्ट्रवादी कांग्रेस के सदस्य सुनील तटकरे ने कहा कि सरकार ने 34 हजार करोड़ रुपए की कर्ज माफी की घोषणा की है जबकि पूरक मांगों में 20 हजार करोड़ रुपए का प्रावधान किया जा रहा है। सरकार को स्पष्ट करना चाहिए कि बाकी 14 हजार करोड़ रुपए कैसे और कहां से आएंगे।
 
एकजुट नजर आया विपक्ष
-विधानमंडल के दोनों सदनों में पूर्व प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी और राष्ट्रवादी कांग्रेस अध्यक्ष शरद पवार के अभिनंदन प्रस्ताव को लेकर बंटी कांग्रेस और राष्ट्रवादी कांग्रेस सोमवार को विधान परिषद में एकजुट नजर आईं। कर्जमाफी के मुद्दे पर दोनों कांग्रेस के सदस्यों ने एक साथ खड़े होकर सरकार के खिलाफ नारेबाजी की।
 
कांग्रेस-राकांपा में हुई सुलह
राज्य विधानमंडल के दोनों सदनों में पेश किए जाने वाले पूर्व प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी और राष्ट्रवादी कांग्रेस अध्यक्ष शरद पवार के अभिनंदन प्रस्ताव को लेकर कांग्रेस और राष्ट्रवादी कांग्रेस के बीच अब सुलह हो गई है। दोनों दलों के नेताओं के बीच हुई बैठक में तय हुआ कि 5 अगस्त को शरद पवार और 9 अगस्त को इंदिरा गांधी को लेकर अभिनंदन प्रस्ताव सदन में पेश किया जाएगा।

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