कोविड पॉजिटिव मुस्लिम धर्मगुरु ने छिपाई टेस्ट रिपोर्ट, इंडोनेशिया की अदालत ने सुनाई 4 साल की जेल
जकार्ता : इंडोनेशिया के प्रभावशाली धर्मगुरू मुहम्मद रिजिक शिहाब को गुरुवार को चार साल कैद की सजा सुनाई गई। ईस्ट जकार्ता डिस्ट्रिक्ट कोर्ट के तीन जजों के एक पैनल ने कहा कि शिहाब ने अपनी केाविड-19 टेस्ट रिपोर्ट के संबंध में झूठ बोला था, जिससे उनके सम्पर्क में आए लोगों की पहचान करने में परेशानी आई। शिहाब बीते साल 13 दिसंबर से ही हिरासत में हैं। जजों के पैनल ने कहा कि जितना समय वह जेल में बिता चुके हैं, वह उनकी सजा से कम कर दिया जाएगा। फैसला सुनाने से पहले अदालत के बाहर भारी पुलिस बल और सेना के जवान तैनात किए गए थे।
शिहाब की रिहाई की मांग करते हुए उनके हजारों समर्थकों ने वहां रैली निकालने की कोशिश की, जिस कारण अधिकारियों को अदालत आने वाले मार्ग को बंद करना पड़ा। पुलिस ने उनके समर्थकों को तितर-बितर करने के लिए आंसू गैस के गोले दागे और पानी की बौछारें भी कीं। गौरतलब है कि पिछले साल नवम्बर में सऊदी अरब में तीन साल के निर्वासन से लौटने के बाद से शिहाब पर कई आपराधिक मुकदमे चल रहे हैं।
इसी अदालत ने अपनी बेटी की शादी और धार्मिक संगोष्ठियों में लोगों को इकट्ठा कर कोविड-19 के दौरान स्वास्थ्य दिशा-निर्देशों का उल्लंघन करने के मामले में 27 मई को उन्हें आठ महीने की सजा सुनाई थी। उक्त मुलाकातों के बाद ही बोगोर के ‘उम्मी अस्पताल में उनका कोविड-19 का इलाज चला था, लेकिन अस्पताल अधिकारियों ने उनकी स्वास्थ्य से जुड़ी जानकारियां छिपाई गयी थी।