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गर्लफ्रेंड बन जाने पर फैमिली को क्यों भूल जाते हैं लड़के

गर्लफ्रेंड बन जाने पर

आजकल टीएनज में ही लड़का-लड़की रिलेशनशिप में आ जाते हैं। अब तो ये फैशन काफी आम हो चुका है। स्‍कूल जाने वाले छात्र ही गर्लफ्रेंड-ब्‍वॉयफ्रेंड बना लेते हैं। अकसर देखने में आता है कि लड़के गर्लफ्रेंड बनाने के बाद अपने परिवार को भूल से जाते हैं और उनके साथ बिलकुल भी समय नहीं बिताते।घंटों गर्लफ्रेंड के साथ फोन पर लगे रहने के कारण लड़के अपने परिवार को बिलकुल भी समय नहीं देते और ना ही घर का कोई काम करने के लिए उनके पास टाइम होता है। यहां तक कि बड़े होने पर दोस्‍तों या गर्लफ्रेंड के साथ ही जन्‍मदिन मनाते हैं और परिवार वाले जन्‍मदिन पर उन्‍हें विश करने के लिए बस राह ही तकते रह जाते हैं।

गर्लफ्रेंड बन जाने पर फैमिली को क्यों भूल जाते हैं लड़के

आपका अगर कोई भाई या बेटा है और उसकी गर्लफ्रेंड है तो आपको भी कभी ना कभी ये अहसास जरूर हुआ होगा कि उस लड़की कि वजह से आपका भाई या बेटा परिवार को समय नहीं दे रहा है और ना ही अपनी जिम्‍मेदारियों को ठीक तरह से पूरा कर रहा है। 

अमूमन लोगों को लगता है कि लड़कियां लड़कों को उनके परिवार से दूर करती हैं लेकिन ऐसा नहीं है बल्कि गर्लफ्रेंड बन जाने पर लड़के खुद ही गर्लफ्रेंड के चक्‍कर में परिवार से दूर होने लगते हैं। नई-नई गर्लफ्रेंड बन जाने पर लड़के उनके साथ समय बिताने और बातें करने को बहुत ज्‍यादा उत्‍सुक रहते हैं और इसी चक्‍कर में उन्‍हें कोई और दिखाई ही नहीं देता।

टीनएज में किसी भी लड़के को इतनी समझ नहीं होती कि उसे अपनी गर्लफ्रेंड और परिवार के बीच कैसे तालमेल बनाकर चलना है और ऐसे में वो अपने परिवार को नज़रअंदाज़ करने लगता है। इस मामले में कुछ दोष उम्र का भी होता है। नए-नए रिश्‍ते में लड़कों के दिमाग पर बस दीवानगी छाई हुई होती है और उन्‍हें अपनी गर्लफ्रेंड के आगे और कुछ दिखाई नहीं देता बल्कि कुछ लड़के तो अपने परिवार से भी दूर होने लगते हैं।

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