नई दिल्ली : राष्ट्रीय राजधानी में लोक निर्माण विभाग घोटाले में केजरीवाल के साढ़ू सुरेंद्र कुमार बंसल के बेटे विनय बंसल को भ्रष्टाचार विरोधी ब्यूरो ने आज गिरफ्तार किया है। फर्जीवाड़े में पीडब्ल्यूडी के अधिकारी भी शामिल हैं। पीडब्ल्यूडी के अधिकारियों ने बिलों को स्थापित किए बिना ही अधिकारिक तौर पर स्वीकार कर लिया और निर्माण कंपनी को भुगतान भी कर दिया। इसी तरह छह अन्य कार्यों में बिलों में फर्जीवाड़ा किया गया। विभाग के अधिकारियों व ठेकेदारों की मिलीभगत से सड़कों और नालों के निर्माण कार्य के नाम पर करोड़ों रुपये का भ्रष्टाचार फर्जी बिलों के जरिये किया गया। 250 करोड़ रुपये के कार्यों में नियमों की अनदेखी की गई। अदालत ने पीडब्ल्यूडी की फाइलों को सीज करा दिया है। सीबीआइ ने भी कुछ फाइलों को कब्जे में लिया है।
वहीँ बंसल की कंपनी रेनू कंस्ट्रक्शन व दो अन्य कंपनियों के खिलाफ भ्रष्टाचार निरोधक शाखा एसीबी ने मंगलवार शाम केस दर्ज किया था, उनके खिलाफ फर्जीवाड़ा, धोखाधड़ी व भ्रष्टाचार निरोधक अधिनियम के तहत मुकदमा दर्ज किया गया है। बता दें कि रोड एंटीकरप्शन आर्गनाइजेशन संस्था व एक पत्रकार ने कई महीने पूर्व सूचना के अधिकार के तहत जानकारी जुटाकर आइपी एस्टेट थाने में शिकायत की थी। सुरेंद्र कुमार बंसल पर आरोप है कि उन्होंने केजरीवाल की मदद से 10 करोड़ रुपये का पीडब्ल्यूडी का ठेका प्राप्त किया। पुलिस ने मामले को आर्थिक अपराध शाखा में भेज दिया था। वहां भी केस दर्ज न करने पर शिकायतकर्ता ने तीस हजारी कोर्ट में अर्जी दायर कर मुकदमा दर्ज करने का आदेश देने की मांग की थी। अदालत ने सोमवार को मामले को एसीबी में भेजकर जांच करने को कहा था। शिकायत में कहा गया है कि मुख्यमंत्री अरविन्द केजरीवाल ने अपने प्रभाव का इस्तेमाल करते हुए अपने साढ़ू को ठेके दिलवाए। लोक निर्माण विभाग ने वर्ष 2015 में शनि मंदिर से बकौली गांव तक नाले के निर्माण कार्य के लिए निविदा आवंटित की थी। यह काम सुरेंद्र कुमार बंसल की कंपनी रेनू कंस्ट्रक्शन को दिया गया। बंसल अरविंद केजरीवाल की पत्नी सुनीता की बड़ी बहन शकुन के पति हैं। लोक निर्माण विभाग ने उक्त कार्य की अनुमानित लागत 4,90,36,843 निर्धारित की थी। उक्त कंपनी ने बिलों में फर्जीवाड़ा कर करोड़ों रुपये का गबन किया।