पुलवामा आतंकवादी हमले के मद्देनजर विश्व कप में भारत और पाकिस्तान के बीच मैच को लेकर लग रही अटकलों के बीच अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट परिषद ने मंगलवार को कहा कि उन्हें नहीं लगता कि 30 मई से शुरू हो रहे विश्व कप के कार्यक्रम में बदलाव होगा। इस मामले में सीईओ रिचर्डसन ने कहा , ‘इस भयावह घटना से प्रभावित लोगों के साथ हमारी सहानुभूति है और हम अपने सदस्यों के साथ हालात पर नजर रखेंगे। ऐसे कोई संकेत नहीं है कि आईसीसी पुरूष विश्व कप का कोई मैच निर्धारित कार्यक्रम के अनुसार नहीं होगा। खेल खासकर क्रिकेट में लोगों को करीब लाने और समुदायों को जोड़ने की कमाल की क्षमता है और हम इसी आधार पर अपने सदस्यों के साथ काम करेंगे।’
वहीं, बीसीसीआई के एक सीनियर अधिकारी ने कहा, ‘हरभजन ने अपना पक्ष रखा लेकिन यह नहीं कहा कि अगर हमें उनके खिलाफ सेमीफाइनल या फाइनल खेलना पड़े तो। क्या हम नहीं खेलेंगे। हम काल्पनिक हालात पर बात कर रहे हैं। भारत ने 1999 विश्व कप में पाकिस्तान के खिलाफ मैच खेला था जब कारगिल युद्ध चरम पर था।
आतंकी हमले के मद्देनजर भारत के पूर्व क्रिकेटर हरभजन सिंह ने कहा था कि भारत को 16 जून को मैनचेस्टर में पाकिस्तान के खिलाफ नहीं खेलना चाहिए। उन्होंने कहा था, ‘यह कठिन समय है। हमला हुआ है, यह अविश्वसनीय है और बहुत गलत है । सरकार जरूर कड़ी कार्रवाई करेगी। जहां तक क्रिकेट का सवाल है तो मुझे नहीं लगता कि हमें उनके साथ कोई भी संबंध रखना चाहिये वरना ऐसा चलता रहेगा।’
उन्होंने कहा , ‘हमें देश के साथ खड़े होना चाहिए। क्रिकेट या हाकी या किसी भी खेल में हमें उनके साथ नहीं खेलना चाहिए।’ हालांकि, हरभजन ने ये भी कहा था कि भारत अगर 16 जून को मैनचेस्टर में पाकिस्तान के खिलाफ होने वाले मैच गंवा भी देता है तो भी इतना मजबूत है कि विश्व कप जीत सकता है। इनपुट-भाषा