अलविदा 2015 : क्रिकेट सहित इन खेलों में भारतीय खिलाड़ियों ने किया देश का नाम रोशन
नई दिल्ली: भारतीय खिलाड़ियों ने खेल जगत में 2015 में कई उपलब्धियां हासिल कीं। खासतौर से क्रिकेट और टेनिस में। टेस्ट क्रिकेट में जहां विराट की कप्तानी में टीम इंडिया ने सफलता के झंड गाड़े, वहीं सानिया मिर्जा ने टेनिस तो साइना नेहवाल ने बैडमिंटन में देश का नाम रोशन किया।
क्रिकेट : 22 साल बाद श्रीलंका में जीत
विराट कोहली की कप्तानी में टीम इंडिया ने श्रीलंका को उसी की धरती पर टेस्ट सीरीज में 2-1 से हराया। यह मौका 22 साल बाद आया। गौरतलब है कि श्रीलंका ने सीरीज का पहला मैच जीत लिया था, लेकिन विराट सेना ने वापसी करते हुए इतिहास रच दिया।
11 साल बाद दक्षिण अफ्रीका को हराया
टीम इंडिया ने दक्षिण अफ्रीका को होम सीरीज में 11 साल बाद बुरी तरह हराने में सफलता हासिल की। इतना ही नहीं भारत ने दक्षिण अफ्रीका के 9 साल से विदेशी धरती पर अजेय रहने के रथ को भी थाम लिया। इसके साथ ही विराट ने अपनी पहली ही होम सीरीज पर 3-0 से कब्जा जमा लिया।
करिश्माई आर अश्विन का धमाल
टीम इंडिया के ऑफ स्पिनर आर अश्विन ने अपनी करिश्माई गेंदबाजी से न केवल टीम इंडिया की टेस्ट जीत में अहम भूमिका निभाई, बल्कि साल 2015 में अभी तक सबसे अधिक विकेट लेने के मामले में वर्ल्ड के नंबर वन गेंदबाज हैं। उन्होंने इस साल 62 विकेट लिए हैं, उनसे पीछे इंलैंड के स्टुअर्ट ब्रॉड और ऑस्ट्रेलिया के हेजलवुड हैं। ब्रॉड ने 13 मैच में 51 विकेट लिए हैं, वहीं हेजलवुड ने 11 मैच में 51 विकेट लिए हैं। अश्विन ने इन दोनों से कम मैच खेले हैं। उन्होंने महज 9 टेस्ट में ही 62 विकेट झटके हैं। इस साल उनका यह रिकॉर्ड बने रहने की पूरी संभावना है, क्योंकि इसे तोड़ने के लिए ब्रॉड और हेजलवुड को 11 विकेट और लेने होंगे, जबकि दोनों के पास अब एक टेस्ट मैच ही बाकी है।
टेनिस : ‘खेलरत्न” सानिया
टेनिस सनसनी सानिया मिर्जा को इस साल देश के सर्वोच्च खेल सम्मन राजीव गांधी खेल रत्न से नवाजा गया। उन्होंने 2015 में 10 खिताब जीते हैं, जिसमें डबल्स में मार्टीना हिंगिस के साथ जीते गए दो ग्रैंड स्लैम विंबलडन और अमेरिकी ओपन भी शामिल हैं। इस भारतीय और स्विस जोड़ी के लिए यह साल बेहद अच्छा रहा है और उन्होंने लगातार 21 जीत दर्ज की हैं। दो ग्रैंडस्लैम के अलावा उन्होंने सिडनी इंटरनेशनल, इंडियन वेल्स, मियामी, चार्ल्सटन, ग्वांग्झू, वुहान, बीजिंग टूर्नामेंट और डब्ल्यूटीए फाइनल्स के खिताब भी शामिल हैं।
बैडमिंटन : द ग्रेट साइना
साइना नेहवाल बैडमिंटन में वर्ल्ड नंबर 1 खिलाड़ी बनीं। बैडमिंटन वर्ल्ड फ़ेडेरेशन्स की वर्ल्ड रैंकिंग में पहली बार किसी भारतीय महिला खिलाड़ी का नाम सबसे ऊपर रहा। सानिया ने साल 2015 में जकार्ता में वर्ल्ड बैडमिंटन चैंपियनशिप में सिल्वर मेडल जीता। हालांकि वो गोल्ड जीतने से चूग गईं, लेकिन यह भी एक बड़ी उपलब्धि रही। इसके अलावा इंडिया ओपन वर्ल्ड सुपर सीरीज बैडमिंटन टूर्नामेंट का खिताब भी उन्होंने अपने नाम किया। साइना ने सैयद मोदी इंटरनेशनल इंडिया मास्टर्स खिताब भी जीता।
हॉकी : 33 साल बाद फिर चमके
लंबे समय बाद भारतीय हॉकी टीम एक बार फिर लय हासिल करती दिखी। साल 2015 में हॉकी के लिए शानदार रहा। साल की सबसे बड़ी उपलब्धि वर्ल्ड हॉकी लीग में मेडल जीतना रही। इसमें भारत ने वर्ल्ड नंबर 2 टीम नीदरलैंड को हराकर ब्रॉन्ज मेडल जीता था। 1982 के बाद भारत ने 33 साल बाद पहली बार हॉकी के पूर्ण इंटरनेशनल इवेंट में कोई मेडल जीता है। जूनियर भारतीय हॉकी टीम ने दूसरी बार जूनियर पुरुष एशिया कप हॉकी का खिताब अपने नाम किया।
महिला हॉकी टीम ने भी कमाल करते हुए ओलिंपिक के लिए क्वालीफाई कर लिया। भारतीय महिला हॉकी टीम 36 साल के लंबे अंतराल के बाद ओलिम्पिक में वापसी करेगी। लंदन में यूरो हॉकी चैम्पियनशिप के फाइनल में इंग्लैंड के जगह बनाने के बाद भारत को ओलिंपिक में प्रवेश मिला।
यूरोपीय चैंपियनशिप के सेमीफाइनल में इंग्लैंड ने स्पेन को हराया था, जबकि इससे पहले एक अन्य सेमीफाइनल में नीदरलैंड की टीम ने जर्मनी को शिकस्त दी थी। फाइनल में इंग्लैंड और स्पेन के पहुंचने से एक कोटा स्थान खाली हो गया, क्योंकि ये दोनों ही टीमें पहले ही ओलिंपिक के लिए क्वालीफाई कर चुकी थीं। गौरतलब है कि बेल्जियम के एंटवर्प में महिला हॉकी विश्व लीग सेमीफाइनल्स में पांचवें स्थान पर रहने के कारण भारत को यह कोटा स्थान मिला।
गोल्फ : 10 साल के शुभम का कमाल
हरियाणा के 10 वर्षीय शुभम जगलान ने वर्ल्ड गोल्फ चैंपियनशिप का खिताब जीतकर तहलका मचा दिया। इस जीत पर राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी ने भी लेटर के माध्यम से उसे बधाई दी थी। शुभम के पिता दूध बेचते हैं।