एटीएस को मिली 33 लड़कियों की लिस्ट, इस्लाम कबूल कराने की थी तैयारी
कानपुर: धर्म परिवर्तन मामले में गिरफ्तार मोहम्मद उमर गौतम और काजी जहांगीर ने एटीएस की पूछताछ में एक और खुलासा किया है। इसके मुताबिक ग्रामीण इलाकों की युवतियां आसान शिकार होती हैं। उनका ब्रेनवॉश करने में दिक्कत नहीं होती। एटीएस को आरोपितों के पास से 33 लड़कियों की सूची मिली है जिनमें आधे से ज्यादा युवतियां ग्रामीण इलाकों की रहने वाली हैं।
बीहूपुर गांव घाटमपुर निवासी ऋचा उर्फ माहीन अली का खुलासा होने के बाद एटीएस ने एक बार फिर उमर की संस्था इस्लामिक दावा सेंटर से बरामद 33 युवतियों और महिलाओं की सूची की स्क्रूटनी करना शुरू की है। एटीएस सूत्रों के मुताबिक सूची देखने के बाद पता चला कि ज्यादातर युवतियां ग्रामीण इलाकों की हैं। इसमें झारखंड, बिहार, उत्तर प्रदेश, गुवाहाटी समेत अन्य राज्यों की महिलाएं शामिल हैं। यह सब यहां पर गांव देहात में पली-बढ़ी हैं।
12 से ज्यादा मेधावी रहीं
एटीएस सूत्र बताते हैं कि 33 में से 12 ऐसी युवतियां हैं जो पढ़ने में मेधावी रही हैं। एमबीए, बीएड, बीएससी एमएससी करने वाली इन युवतियों ने स्कॉलरशिप के साथ पढ़ाई पूरी की है। उसके बाद इनका माइंड वॉश कर धर्म परिवर्तन कराया गया है। ग्रामीण इलाकों में रहने वाली इन युवतियों और महिलाओं को दबा कुचला वर्ग मानकर कई बार इनका तिरस्कार किया गया है। इसी बात का फायदा आरोपित उमर गौतम और जहांगीर ने उठाया इनका माइंड वॉश करने के लिए इन्हें बताया गया कि इस्लाम में इन्हें पूरा हक और सुरक्षा मिलेगी जिसके कारण यह उस भाव में बहकर इस्लाम कबूल कर गईं।