ऑनलाइन कक्षा में शिक्षिकाओं को प्राइवेट पार्ट दिखाता था 9वीं का छात्र, पुलिस ने दबोचा
मुंबई: मुंबई पुलिस ने राजस्थान में रहने वाले 15 साल के एक लड़के को हिरासत में लिया है। बताया जा रहा है कि वह नौंवीं का छात्र है और कोडिंग की ऑनलाइन क्लासेज के दौरान महिला शिक्षिकाओं को अपना प्राइवेट पार्ट दिखाता था। जांच में सामने आया है कि आरोपी छात्र सेना में कार्यरत अधिकारी का बेटा है और कंप्यूटर पर उसकी काफी अच्छी पकड़ है।
पुलिस के मुताबिक, यह पूरा घटनाक्रम 15 फरवरी से दो मार्च के बीच का है। उस दौरान ई-कोडिंग के लेक्चर्स के दौरान कई बार प्राइवेट पार्ट दिखाने की शिकायत की गई। बता दें कि कोडिंग की ऑनलाइन कक्षा के लिए प्रतिभागियों को अपने मोबाइल नंबर और ईमेल आईडी देनी पड़ती थी। उस दौरान प्राइवेट पार्ट दिखाने की घटनाएं कई बार हुईं। ऐसे में कोडिंग सिखाने वालों ने ऑनलाइन कक्षा बंद करने की भी योजना बना ली। इसके बाद मुंबई के साकीनाका पुलिस थाने में शिकायत दर्ज कराई गई, जिसके बाद पुलिस ने जांच शुरू कर दी।
पुलिस ने बताया कि सर्विलांस की मदद से आरोपी की लोकेशन तलाशी गई, जो राजस्थान में मिली। इसके बाद पुलिस की एक टीम पिछले महीने राजस्थान भेजी गई। कई बार असफल होने के बाद पुलिस आरोपी का पता ढूंढने में सफल रही। बताया जा रहा है कि आरोपी बार-बार अपना पता बदल रहा था। दरअसल, जब टीम राजस्थान में थी, जब 30 मई को एक बार फिर प्राइवेट पार्ट दिखाने की घटना हुई। उस दौरान आरोपी की लोकेशन जैसलमेर में मिली। मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक, इसके बाद पुलिस ने नाबालिग को पकड़ लिया।
पुलिस ने आरोपी के लैपटॉप की जांच की, जिसके बाद आईपी एड्रेस ट्रेस होने से बचाने के लिए तमाम तरीके इस्तेमाल होने की जानकारी मिली। पुलिस ने बताया कि आरोपी स्क्रीन पर कभी अपना चेहरा नहीं दिखाता था, लेकिन एक बार जब वह छिपने की कोशिश कर रहा था, तब शिक्षिकाओं ने उसके बैकग्राउंड का स्क्रीनशॉट ले लिया। उस तस्वीर की मदद से ही पुलिस को जांच में आसानी हुई।
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, जब पुलिस ने छात्र से इस अपराध को करने की वजह पूछी तो उसने कहा कि वह मजे के लिए ऐसा करता था। बताया जा रहा है कि इस घटना की शिकार मुंबई निवासी दो महिलाएं हुईं। वहीं, बाकी पीड़िता देश के अलग-अलग हिस्सों में रहती हैं। पुलिस ने आरोपी छात्र को बाल अदालत में पेश किया, जहां से उसे ऑब्जर्वेशन होम भेज दिया गया।