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कपाट खुलते वक्त बदरीनाथ धाम में मची भगदड़, बड़ा हादसा होने से टला

badrinath-dham-door-open_1462945285श्री बदरीनाथ बदरीनाथ मंदिर के कपाट ब्रह्म मुहूर्त में बुधवार को सुबह चार बजकर 30 ‌मिनट परविधि-विधान और पूजा-अर्चना के साथ खुल गए। लेकिन इस दौरान बड़ा हादसा होते-होते टल गया। कुबेर की डोली के साथ कुछ भक्तों ने मंदिर में घुसने की कोशिश की, जिससे मौके पर भगदड़ मच गई।

आज से आम श्रद्घालु भगवान बदरीनाथ के दर्शन कर सकेंगे। इस दौरान मंदिर के अंदर मौजूद गढ़वाल सांसद भुवन चंद्र खंडूरी की तबियत अचानक खराब हो गई। फिलहाल, उनकी तबियत में सुधार है। 3 बजकर 35 मिनट पर कुबेर की डोली ने मंदिर में प्रवेश किया।

बुधवार सुबह 4 बजे धर्माधिकारी मंदिर में पहुंचे। इसके बाद द्वार पूजा और संकल्प पूजा शुरू की गई। रावल ईश्वरन प्रसाद नम्बूदरी भी मुख्य गेट पर पहुंचे।

इसके बाद 4 बजकर 25 मिनट पर मेहता थोक के ग्रामीण मुख्य द्वार की चाबी लेकर पहुंचे। मेष लग्न पर 4 बजकर 30 मिनट पर टिहरी नरेश के प्रतिनिधि के रूप में पहुचे हर्षवर्धन नोटियाल की मौजूदगी में बदरीनाथ के कपाट 6 माह के लिए खोल दिए गए।

कपाट खुलने की पूजा अर्चना के दौरान मौजूद गढ़वाल सांसद बीसी खंडूड़ी अचानक बेहोश होकर जमीन बदरीनाथ के मुख्य द्वार पर ही गिर पड़े।
वहां मौजूद पूर्व विधायक महेंद्र भट्ट और मंदिर समिति के सीईओ बीडी सिंह ने खंडूरी को कंधे पर उठाकर मंदिर समिति के गेस्ट हाउस में पहुंचाया। जहां चमोली के सीएमओ डॉ. विराज शाह ने उन्हें उपचार दिया।

बुधवार को सुबह 3 बजकर 30 मिनट पर गेट नंबर तीन से बामणी गांव से पहुंची कुबेर की डोली के साथ स्थानीय लोग और कुछ यात्रियों ने भी बदरीनाथ मुख्य परिसर में घुसने की कोशिश की। इससे मुख्य परिसर में भगदड़ मच गयी।

कई महिलाएं सीढ़ियों में ही लड़खड़ाकर गिर गयी। पुलिस के जवानों ने लोगों को अंदर आने से रोकने के लिए गेट बंद कर दिया। जिससे माहौल पर काबू पाया और कोई हादसा होने से बच गया।

इधर, धाम के कपाट खुलने पर भी तीर्थयात्रियों की धक्का मुक्की को काबू करने के लिए गढ़वाल स्काउट के जवानों को ब्यवस्था बनाने के लिए आना पड़ा।

 

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