छह महीने में दो हत्याएं करने वाले नाबालिग पर वयस्क की तरह चल सकता है मुकदमा
दस्तक टाइम्स एजेन्सी/ नई दिल्ली: दिसंबर, 2015 में संसद द्वारा पारित किए गए नए कानून के तहत इसी सप्ताह दिल्ली में कथित रूप से एक वृद्धा की हत्या करने के आरोप में गिरफ्तार किए गए 17-वर्षीय नाबालिग पर वयस्क की तरह मुकदमा चलाया जा सकता है।
यदि जुवेनाइल जस्टिस बोर्ड तैयार हो जाता है, तो कथित रूप से पिछले छह महीने के दौरान दो हत्याएं करने वाला यह किशोर पहला ऐसा नाबालिग बनेगा, जिस पर जुवेनाइल जस्टिस (केयर एंड प्रोटेक्शन ऑफ चिल्ड्रन) एक्ट, 2015 के तहत वयस्क की तरह मुकदमा चलेगा। नए कानून के मुताबिक 16 से 18 वर्ष की आयु के बीच के किशोरों पर हत्या जैसे संगीन जुर्मों के लिए वयस्क की तरह मुकदमा चलाया जा सकता है।
इस नाबालिग लड़के पर पिछले साल सितंबर महीने में एक 13-वर्षीय बच्चे का अपहरण तथा हत्या करने का आरोप लगा था, और उसे सुधारगृह में भेज दिया गया था, जहां से दो महीने बाद अच्छे आचरण के चलते इसे रिहा कर दिया गया। सोमवार को, पुलिस ने आरोप लगाया है कि इसी नाबालिग ने दक्षिणी दिल्ली स्थित बीके दत्त कॉलोनी में रहने वाली 65-वर्षीय मिथिलेश जैन की गला घोंटकर हत्या की, और नकदी, जेवर और मोबाइल फोन लेकर फरार हो गया।
नाबालिग को गुरुवार को फरीदाबाद स्थित उसके घर से गिरफ्तार किया गया था। उसकी गिरफ्तारी तब हो पाई, जब उसने कथित रूप से मिथिलेश जैन के घर से चुराए हुए मोबाइल फोनों में से एक को चालू किया, जिसे पुलिस ने ट्रेस कर लिया।
पूछताछ के दौरान 17-वर्षीय प्रोफेशनल डांसर ने कथित रूप से पुलिस को बताया है कि उसने एक रियलिटी डांस शो में भाग लेने के लिए पैसे जुटाने की खातिर महिला की हत्या की थी।
बताया जाता है कि उसने पहले भी डांस शो में भाग लेने की खातिर पैसे हासिल करने के लिए ही 13-वर्षीय स्वप्नेश गुप्ता का कथित रूप से अपहरण कर हत्या की थी। दिल्ली पुलिस ने बताया कि नाबालिग और उसकी 17-वर्षीय गर्लफ्रेंड ने स्वप्नेश को अगवा किया था और उसे रानीखेत (उत्तराखंड) ले गए थे, जहां उन्होंने कथित रूप से एक बेल्ट से उसका गला घोंटकर उसे मार डाला, और उसके शव को खाई में फेंक दिया।
वैसे, नए जुवेनाइल कानून को कांग्रेस नेता तथा कार्यकर्ता तहसीन पूनावाला ने सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी है, और इसे ‘बर्बर तथा असंवैधानिक’ बताया है।