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जल्द एडवांस्ड ड्रोन इजरायल से खरीद सकता है भारत

दस्तक टाइम्स/एजेंसी
drone1_1442900478नई दिल्ली. खबर है कि सरकार ने इजरायल से 10 हेरॉन टीपी ड्रोन खरीदने की एयरफोर्स की मांग मान ली है। हाल ही में पाकिस्तान ने ‘बुराक’ नाम का ड्रोन बनाया है। यह ड्रोन अपनी जमीन से आतंकियों पर हमला करने में सक्षम है। ऐसे में, भारत को चिंता है कि पाकिस्तान उसके खिलाफ ड्रोन वॉर के जरिए नया फ्रंट खोल सकता है। चीन भी जंग में इस्‍तेमाल होने वाला स्वदेशी ड्रोन डेवलप कर चुका है। डिफेंस मिनिस्ट्री के सूत्रों की मानें तो इसी वजह से भारत इजरायल से जल्द से जल्द एडवांस्ड ड्रोन खरीदने की प्लानिंग कर रहा है।जंग में इस्तेमाल होने वाले ड्रोन आर्मी हथियार ले जा सकते हैं। दुश्मन पर अटैक भी कर सकते हैं। इससे जंग के दौरान आर्मी को जान का कम नुकसान उठाना होता है।भारत ने तीन साल पहले इजरायल से हेरॉन ड्रोन की डील की थी। लेकिन डिलिवरी में देरी होने के कारण इस साल जनवरी में इंडियन आर्मी ने सरकार को खत लिखकर डिलिवरी जल्द करने की मांग की थी।10 हेरॉन टीपी ड्रोन की अनुमानित कीमत 2620 करोड़ रुपए बताई जा रही है। यह ड्रोन इजरायल एयरोस्पेस इंडस्ट्रीज (आईएआई) ने बनाया है। ये हथियारों से लैस होंगे और ग्राउंड पर अटैक करेंगे।नई दिल्ली स्थित लैंड वॉर फेयर स्टडीज के पूर्व मुखिया गुरमीत कंवल ने बताया कि हेरॉन ड्रोन 2016 के आखिर तक एयरफोर्स के पास होगा। इससे हमारी ताकत में बढ़ोत्तरी होगी। गौरतलब है कि भारत भी काफी समय में स्वदेशी ड्रोन डेवलप करने की कोशिश कर रहा है।बुराक, पाकिस्तान का पहला एडवांस्ड अनमैन्ड (मानवरहित) कॉम्बैट एरियल व्हीकल (यूसीएवी) है। इसे पाकिस्तान एयरफोर्स और नेशनल इंजीनियरिंग एंड साइंटिफिक कमीशन (नेसकॉम) ने मिलकर डेवलप किया है। कहा जाता है कि पाक का बुराक ड्रोन चीन के सीएएससी रेनबो सीएच-3 यूएवी की डिजाइन से मिलता-जुलता है। 7 सितंबर, 2015 को पाक आर्मी ने पहली बार इसका इस्तेमाल करते हुए उत्तरी वजीरिस्तान में तीन आतंकी सरगना को ढेर किया था। बुराक शब्द अरबी के ‘अल-बुराक’ से लिया गया है। इसका मतलब ‘आकाशीय बिजली’ से है। रिपोर्ट के मुताबिक, मई 2009 में बुराक यूसीएवी पहली बार फ्लाइट टेस्ट से गुजरा। 13 मार्च, 2015 को फाइनल टेस्टिंग के बाद इसे पाकिस्तानी बेड़े में शामिल कर लिया गया।

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