जिन्ना की बेटी दीना वाडिया का हुआ निधन, कभी एक साथ फहराया था भारत-पाक का झंडा
नई दिल्ली: पाकिस्तान के संस्थापक मोहम्मद अली जिन्ना की बेटी दीना वाडिया का गुरूवार को न्यूयार्क स्थित उनके आवास पर निधन हो गया. दीना 98 साल की थीं. दीना वाडिया के परिवार में उनके पुत्र और वाडिया समूह के अध्यक्ष नुसली एन वाडिया, बेटी डी एन वाडिया और पोते नेस और जेह हैं. दीना का जन्म 15 अगस्त 1919 को लंदन में हुआ था.
मुस्लिम छवि को बचाने के लिए जिन्ना ने छोड़ा पत्नि और बच्ची का दामन
दीना जिन्ना की इकलौती संतान थी. जिन्ना ने एक पारसी महीला से शादी की थी. इतिहासकारों की माने तो अपनी मुस्लिम छवी को बचाने के चक्कर में जिन्ना ने अपनी पारसी पत्नी और इकलौती संतान को छोड़ दिया था. महज 10 साल की उम्र में ही दीना की मां की मृत्यू हो गई थी. मां की मौत के बाद दीना अपने पिता जिन्ना से ज्यादातक दूर ही रहीं.
प्रेम कहानी
पाकिस्तान के अखबार एक्सप्रेस ट्रिब्यून में छपी खबर के मुताबिक, साल 1936 में दीना की मुलाकात मशहूर टेक्सटाइल इंडस्ट्रियलिस्ट पारसी बिजनेसमैन नैस वाडिया के बेटे नेविली वाडिया से हुई थी. नेविली का परिवार पारसी था जबकि मां क्रिश्चियन थीं. ब्रिटेन में पैदा हुए नेविली और दीना को को एक दूसरे प्यार करने लगे और कुछ दिनों बाद दोनों ने शादी कर ली.
पिता जिन्ना को थी दीना के प्रेम प्रसंग से आपत्ति
1920 के दशक में जिन्ना तेजी से उभरते हुए मुस्लिम नेता बन रहे थे वहीं दूसरी ओर मां और दीना गुमनाम ही रहीं. दीना की मां रति जिन्ना एक खुले विचारों वाली महिला थीं. दीना की जिंदगी में जब गैर मुस्लिम आया तो अपने खुले विचारों के चलते ही वह उसे स्वीकार करने में पीछे नहीं हटीं. हालांकि जिन्ना को अपनी बेटी दीना का किसी गैर मुस्लिम युवक से रिश्ता रखना काफी आपत्ति जनक लगता था.
दीना ने साथ फहराया भारत-पाक का झंडा
एक किताब के मुताबिक, दीना मुंबई के कोलाबा में रहती थीं. साल 1947 में जब बंटवारें के दौर चला तो दीना के लिए फैसला कर पाना काफी मुश्किल भरा था. जानकारों की माने तो इस दौरान उन्होंने अपने फ्लैट पर भारत-पाकिस्तान बनने के दो झंडे लगाए थे.