हरिद्वार: 19 अगस्त की सायं हुई कलिंग उत्कल एक्सप्रेस के भीषण हादसा के समाचार मिलने के तुरंत बाद गायत्री परिवार ने शांतिकुंज आपदा प्रबंधन दल को राहत कार्य में जुटने का निर्देश दिया। निर्देश पाकर आपदा प्रबंधन की टीम सायं 7 बजे घटना स्थल के लिए रवाना हो गयी। इसके साथ ही मेरठ व मुजफ्फरनगर के गायत्री परिजनों को भी पीड़ितों की तत्काल सेवा करने को कहा गया। देर रात तक शांतिकुंज आपदा प्रबंधन टीम सेवा सुश्रुषा में जुटी रहीं। वहीं शांतिकुंज, जिला प्रशासन एवं रेलवे के सहयोग से देर रात तक मप्र के 60, उप्र के 14, त्रिपुरा के 10, छत्तीसगढ़ के 10, हरियाणा के 02, गुजरात के 4 एवं ओडिशा के 03, प्रभावित लोग गायत्री तीर्थ पहुंचे। जहां चिकित्सा, भोजन आवास आदि की पूरी व्यवस्था की गयी। 5 घायलों की चिकित्सकीय उपचार शांतिकुंज चिकित्सालय में की जा रही है। इस यात्रा में बस्तर के परिजन मनोज प्रधान भी यात्रा कर रहे थे, उनके पैर में गंभीर चोट आई है और मुजफ्फरनगर के जिला चिकित्सालय में उपचार चल रहा है। राहत कार्य में छत्तीसगढ़ जोन के समन्वयकों के नेतृत्व में तीन टीम जुटी हैं।
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