अद्धयात्म

दिसम्बर के पहले दिन ये श्रेष्ठ योग देंगे सफलता

hanuman-14482755221 दिसम्बर 2015 को मंगलवार है। इस दिन शुभ वि.सं.: 2072, संवत्सर नाम: कीलक, अयन: दक्षिण, शाके: 1937, हिजरी: 1437, मु.मास: सफर-18, ऋ तु: हेमन्त, मास: मार्गशीर्ष, पक्ष: कृष्ण है। शुभ तिथि: षष्ठी नन्दा संज्ञक तिथि रात्रि 10.22 तक, तदन्तर सप्तमी भद्रा संज्ञक तिथि रहेगी। षष्ठी तिथि में यात्रा, उबटन, काठ की दातुन व चित्रकारी आदि कार्यों को छोड़कर वास्तु, अलंकार व विवाहादि मांगलिक कार्य सिद्ध होते हैं। सप्तमी तिथि में विवाहादि मांगलिक कार्यों सहित, नृत्य-गीत-संगीत, यात्रा, प्रवेश, वस्त्रालंकार तथान्य घरेलू उत्सवादि शुभ रहते हैं। षष्ठी तिथि में जन्मा जातक बहुत यात्राएं करने वाला, अस्थिर, गर्व व घमण्ड की बातें करने वाला, कामासक्त, सुन्दर व ऐश्वर्य वाला होता है।

नक्षत्र: अश्लेषा तीक्ष्ण व अधोमुख संज्ञक नक्षत्र अन्त रात्रि 4.02 तक, तदन्तर मघा उग्र व अधोमुख संज्ञक नक्षत्र रहेगा। अश्लेषा नक्षत्र में यथा आवश्यक शत्रु मर्दन, अग्नि विषादिक असद कार्य, साहसिक व व्यापार से सम्बन्धित कार्य सिद्ध होते हैं। मघा नक्षत्र में विवाहादि मांगलिक कार्य, पैतृक कार्य, वृक्ष-बीजादि रोपण, तालाब कुआं आदि खनन व अन्य साहसिक कार्य सिद्ध होते हैं। अश्लेषा व मघा दोनों ही गण्डान्त मूल संज्ञक नक्षत्र भी हैं। अत: इन नक्षत्रों में जन्मे जातकों की 27 दिन बाद जब इन नक्षत्रों की पुनरावृत्ति हो, उस दिन नक्षत्र शांति करा देना जातकों के हित में होगा। अश्लेषा नक्षत्र में जन्मा जातक नेक कार्यों की नकल करने वाला, साधु-संतों से प्रेम रखने वाला, व्यसनप्रिय, अतिक्रोधी, स्वार्थी और कृतघ्न होता है। इनका भाग्योदय कुछ विलम्ब से लगभग 30 वर्ष की आयु के बाद होता है।

 

योग: ऐन्द्र नामक नैसर्गिक अशुभ योग अन्तरात्रि अगले दिन सूर्योदय पूर्व प्रात: 6.27 तक रहेगा। इसके बाद वैधृति नामक अत्यन्त बाधाकारक योग प्रारम्भ हो जाएगा। जो समस्त शुभ व मांगलिक कार्यों में सर्वथा वर्जित है। विशिष्ट योग: सर्वार्थसिद्धि नामक शुभ योग व दोष समूह नाशक रवि योग नामक शक्तिशाली शुभ योग सूर्योदय से अन्तरात्रि 4.02 तक। करण: गरनामकरण प्रात: 9.47 तक, तदन्तर रात्रि 10.22 तक वणिज नामकरण, इसके बाद भद्रा प्रारम्भ हो जाएगी। चंद्रमा: अन्तरात्रि 4.02 तक कर्क राशि में, इसके बाद सिंह राशि में रहेगा। व्रतोत्सव: मंगलवार को छींट छठ तथा विश्व एड्स दिवस है।

शुभ कार्यारम्भ मुहूर्त: उपर्युक्त शुभाशुभ समय, तिथि, वार, नक्षत्र व योगानुसार मंगलवार को मघा नक्षत्र में विवाह का अति आवश्यकता में (भद्रा व वृैधति दोष युक्त) अशुद्ध मुहूर्त है। अन्य किसी शुभ व मांगलिक कार्यादि के शुभ व शुद्ध मुहूर्त नहीं है।

 

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