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नोटबंदी पर कैसे बना पीएम मोदी का मास्टर प्लान

पीएम मोदी के घर से इस अफसर की टीम कर रही थी काम

hasmukh-adhia3नई दिल्ली: नोटबंदी के पीएम मोदी के फैसले की देशभर में चर्चा हो रही है. इसे भारत की अर्थव्यवस्था के इतिहास में सबसे बड़ा कदम माना जा रहा है. पर्दे के पीछे इस फैसले के पीछे कौन-कौन से दिमाग काम कर रहे थे और पीएम मोदी ने इस अहम फैसले को लागू करने के लिए जिस शख्स को चुना उसके बारे में ज्यादातर लोगों को नहीं पता. एक अंतरराष्ट्रीय समाचार एजेंसी की रिपोर्ट में उस अफसर के बारे में जानकारी सामने आई है, जिसे पीएम मोदी ने विमुद्रीकरण को अमली जामा पहनाने के लिए चुना. समाचार एजेंसी की रिपोर्ट के मुताबिक इस शख्स का नाम है हंसमुख अधिया, जिन्हें वित्त महकमे में भी काफ़ी लो प्रोफाइल का माना जाता है. डॉक्टर हंसमुख अधिया वित्त मंत्रालय में राजस्व सचिव के पद पर तैनात हैं.
रिपोर्ट के मुताबिक हंसमुख अधिया और उनके पांच सहयोगी पीएम मोदी के इस मास्टर प्लान का हिस्सा थे. हंसमुख के बाकी साथियों को योजना का हिस्सा बनाने से पहले गोपनीयता की अच्छे से तस्दीक कर ली गई थी. वहीं नोटबंदी की तह तक खबर रखने वाले कुछ सूत्रों के मुताबिक इस हंसमुख समेत छह सदस्यों की टीम के साथ एक रिसर्च टीम भी पीएम मोदी के साथ काम कर रही थी. आठ नवंबर को रात आठ बजे के बाद जब पीएम मोदी ने नोटबंदी का एलान किया, तो उससे पहले भी पीएम आवास पर दो कमरों में यह टीम लगातार काम कर रही थी.
जाहिर है पीएम मोदी इतने बड़े फैसले से पहले गोपनीयता भंग होने का कोई जोखिम नहीं उठाना चाहते थे. पीएम इस एलान से पहले काले धन को सोने, प्रॉपर्टी और संपत्ति में निवेश का मौका नहीं देना चाहते थे. इस फैसले के बाद पीएम मोदी का बहुत कुछ दांव पर लगा है. यूपी जैसे अहम राज्य समेत कई राज्यों में अगले साल विधानसभा चुनाव हैं. न्यूज़ एजेंसी ने 8 नवंबर को नोटबंदी की घोषणा से ठीक पहले कैबिनेट बैठक में शामिल रहे तीन मंत्रियों के हवाले से बताया है, “पीएम मोदी ने कैबिनेट बैठक में कहा कि मैंने हर तरह की रिचर्स कर ली है और अगर कुछ गलत होता है तो उसका जिम्मेदार मैं हूं.”

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