![](https://dastaktimes.org/wp-content/uploads/2019/02/modi-6.png)
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भारत को दुनिया की तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बनाने की महत्वाकांक्षा व्यक्त की है। उन्होंने ये बात ग्लोबल बिजनेस समिट में कही है।
नई दिल्ली: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भारत को 10 ट्रिलियन डॉलर के साथ दुनिया की तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बनाने की अपनी आकांक्षा व्यक्त करते हुए कहा कि वह चाहते हैं कि देश में अनगिनत स्टार्टअप्स हों और भारत इलेक्ट्रिक वाहनों के मामले में दुनिया का नेतृत्व करे। प्रधानमंत्री ने यहां ‘विश्व व्यापार सम्मेलन’ में कहा कि जब उनकी सरकार आई थी तब अर्थव्यवस्था की हालत ऐसी हालत थी कि मुद्रास्फीति बेतहाशा बढ़ रही थी, चालू खाते में घाटा बढ़ रहा था। लेकिन पिछले साढ़े चार वर्षों में सुधार के जो कदम उठाए गए हैं उसने तस्वीर पलट दी है। उन्होंने कहा, ‘आज बदलाव स्पष्ट नजर आ रहा है।’ प्रधानमंत्री ने कहा कि भाजपा नीत राजग सरकार के कार्यकाल में उदारीकरण के बाद से अब तक की सबसे ऊंची वृद्धि दर 7.4 प्रतिशत और 4.5 प्रतिशत से कम मुद्रास्फीति देखी गई।
साथ ही उन्होंने यह भी कहा कि जीएसटी जैसे सुधारों ने मजबूत आर्थिक वृद्धि दर की ठोस नींव रखी है। इससे पहले शुक्रवार को वित्तमंत्री अरुण जेटली ने वैश्विक व्यावसायिक सम्मेलन (जीबीएस) को संबोधित करते हुए कहा अर्थव्यवस्था को स्थिरता देने और ऐसी स्थिति पैदा नहीं हो कि हर छह माह में सरकार बदलनी पड़े, इसके लिये जरूरी है कि आगामी चुनाव में पूर्ण बहुमत वाली सरकार ही सत्ता में आनी चाहिये। जेटली ने कहा कि देश के लिये इस समय जो सबसे खराब स्थिति होगी वह राजनीतिक अस्थिरता और नीतिगत अनिर्णय की होगी। ‘हमें विभिन्न दलों का ऐसा गठबंधन भी नहीं चाहिये और सबसे महत्वपूर्ण यह होगा कि भारत को पांच साल चलने वाली सरकार चाहिये, छह महीने की अस्थिर सरकार नहीं।’ उन्होंने कहा कि पिछले पांच साल भारत के लिये उल्लेखनीय रूप से बदलाव के रहे हैं। देश इस दौरान औपचारिक अर्थव्यवस्था और कर आधार के विस्तार की दिशा में आगे बढ़ा है।