उत्तर प्रदेशलखनऊ
प्रो0 सिंदूर के गीतों में आत्मविश्वास था -राम नाईक
राज्यपाल ने गीतकार माहेश्वर तिवारी तथा मशहूर शायर इब्राहिम अश्क को सम्मानित किया
लखनऊ : प्रदेश के राज्यपाल राम नाईक ने संत गाडगे प्रेक्षागृह में सिंदूर मेमोरियल अकादमी द्वारा प्रख्यात गीतकार स्व0 रामस्वरूप सिंदूर की 87वीं जयंती पर आयोजित समारोह में ‘प्रो0 रामस्वरूप सिंदूर सम्मान-2017’ से हिन्दी के प्रख्यात गीतकार माहेश्वर तिवारी तथा उर्दू के मशहूर शायर इब्राहिम अश्क को अंग वस्त्र, स्मृति चिन्ह, प्रशस्ति पत्र व रूपये 25 हजार का नकद पुरस्कार देकर सम्मानित किया। इस अवसर पर प्रदेश की पर्यटन मंत्री डाॅ0 रीता बहुगुणा जोशी, अकादमी के संरक्षक पद्मश्री इरशाद मिर्जा, अध्यक्ष डाॅ0 महमूद रहमानी, महासचिव उस्ताद युगांतर सिंदूर सहित अन्य जानी-मानी हस्तियाँ व साहित्य अनुरागी उपस्थित थे। राज्यपाल ने सम्मान समारोह में अपने विचार व्यक्त करते हुए कहा कि प्रो0 रामस्वरूप सिंदूर के लेखन में जीवंतता है। साहित्य के क्षेत्र में उन्होंने जिस तरह संचार किया है ऐसा व्यक्तित्व बिरले ही मिलता है। गहन चिंतन और संवेदना के साथ उन्होंने सुंदर काव्य रचनाएं दी हैं। प्रो0 सिंदूर के गीतों में आत्मविश्वास था। उन्होंने कहा कि समाज में सद्गुणों से युक्त अलग स्थान ग्रहण करने वालों की याद समय के साथ कम होती जाती है मगर प्रो0 सिंदूर अपनी रचनाओं के माध्यम से आज भी जीवित हैं।
श्री नाईक ने कहा कि यह प्रसन्नता की बात है कि अकादमी द्वारा हिन्दी और उर्दू के साहित्यकारों को सम्मानित किया गया। भारतीय भाषाओं पर चर्चा करते हुए उन्होंने कहा कि हिन्दी सबसे बड़ी बहन है और उर्दू उसकी छोटी बहन है। हिन्दी के बाद पूरे देश में उर्दू के जानने और बोलने वाले लोग हैं। उन्होंने कहा कि सभी भाषाओं का सम्मान होगा तभी कलम की ताकत बढ़ेगी और देश को अच्छी रचनाएं सुनने व पढ़ने को मिलेंगी। राज्यपाल ने लखनऊ में साहित्यिक आयोजनों की सराहना करते हुए कहा कि जैसे दिल्ली राजनैतिक राजधानी है, मुंबई आर्थिक राजधानी है, वाराणसी सांस्कृतिक एवं आध्यात्मिक राजधानी है उसी तरह लखनऊ साहित्य और कला की राजधानी है।
राज्यपाल ने इस अवसर पर आयोजित कवि सम्मेलन और मुशायरे में सम्मिलित होने आए कवियों और शायरों डाॅ0 शिवओम अम्बर, डाॅ0 माजिद देवबंदी, डाॅ0 धनन्जय सिंह, अजहर इनायती, डाॅ0 सुरेश, खुशबीर सिंह साद, सुश्री कमर सुरूर, डाॅ0 मनीष शुक्ला, जयराम जय, निहारिका, ऊषा सिन्हा, सीमा भारद्वाज, राखी किशोर व अन्य को स्मृति चिन्ह देकर सम्मानित भी किया। पर्यटन मंत्री डाॅ0 रीता बहुगुणा जोशी ने कहा कि प्रो0 सिंदूर जैसे लोग अपनी कलम और भावनाओं से समाज को निरन्तर प्रेरित करते रहेंगे। उन्होंने कहा कि युवा पीढ़ी को उनकी विचारधारा से जोड़ने की जरूरत है।