ब्रिटेन में पूर्व रूसी जासूस को दिया गया जहर, अमेरिका गुस्से में
लंदन : इंग्लैंड में पूर्व रूसी जासूस और उनकी बेटी की जहर देने का मामला अब बढ़ता जा रहा है। प्रधानमंत्री टेरेज़ा मे ने साफ तौर पर कहा है कि इस घटना के पीछे रूस का हाथ है, वहीं उनके सुर में सुर मिलाते हुए अमेरिकी विदेशमंत्री रेक्स टिलरसन ने भी कहा कि ब्रिटिश प्रधानमंत्री का बयान कई सवालों को खड़ा करता है, इसके पीछे रूस का ही हाथ हो सकता है। ब्रिटिश प्रधानमंत्री ने कहा कि सरकार इस निष्कर्ष पर पहुंची है कि पूर्व जासूस सर्गई स्क्रेपल और उनकी बेटी यूलिया पर हमले के पीछे रूस हाथ होने की प्रबल संभावना है।
ज्ञात है कि पूर्व रूसी जासूस स्क्रेपल और उनकी बेटी यूलिया पर बीते चार मार्च को जहर देकर निशाना बनाया गया था। इस मामले में रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन कह चुके हैं कि डबल एजेंट पर हमले के मामले में मॉस्को के साथ बातचीत करने से पहले ब्रिटेन को अपनी स्थिति स्पष्ट करनी चाहिए। गौरतलब है कि ब्रिटिश प्रधानमंत्री टेरेज़ा मे ने पूर्व रूसी जासूस को जहर देने के मामले पर खुफिया स्थिति का आकलन करने के लिए राष्ट्रीय सुरक्षा परिषद की बैठक बुलाई थी। वहीँ अमेरिका ने ब्रिटेन में कथित तौर पर रूस द्वारा पूर्व जासूस और उसकी बेटी की हत्या करने के लिए जहर देने की घटना पर रोष जताया है। रूस के पूर्व जासूस सेरगई स्क्रीपल (66) और बेटी यूलिया (33) को पिछले हफ्ते जहर दिया गया था।
इसी पदार्थ की चपेट में एक पुलिस कर्मी भी आ गया था, तीनों की हालत गंभीर है। दूसरी ओर रूस ने लगाए गए आरोपों का खंडन किया है। अमेरिका के विदेश मंत्री रेक्स टिलरसन ने ब्रिटेन के अपने समकक्ष से बात की है, वह फिलहाल अफ्रीका की यात्रा पर हैं, उन्होंने अपने बयान में कहा कि हमें ब्रिटेन की जांच पर पूरा यकीन है और उसका आकलन है कि जहर से किये गये हमले के पीछे रूस हो सकता है, जो पिछले हफ्ते सेल्सबरी में हुआ है। टिलरसन ने कहा कि ऐसे हमले का कोई स्पष्टीकरण नहीं हो सकता है, यह एक संप्रभु राष्ट्र की जमीन पर एक नागरिक की हत्या की कोशिश है। अमेरिका इस बात को लेकर स्तब्ध है कि रूस एक बार फिर से ऐसे व्यवहार शामिल होता प्रतीत हो रहा है। दूसरी ओर एएफपी की खबर के मुताबिक, रूस ने ब्रिटेन पर फुटबॉल विश्व कप से पहले ‘विश्वास की कमी’ पैदा करने का आरोप लगाया। मंत्रालय ने कहा कि हम बार बार यह चेता चुके हैं कि (गर्मियों में) फीफा विश्व कप शुरू होने से पहले पश्चिमी मीडिया रूस को बदनाम और उसके प्रति विश्वास में कमी पैदा करने के लिए अभियान चला सकती है, क्योंकि वह खेल के कार्यक्रम की मेजबानी कर रहा है। आधिकारिक फेसबुक पेज पर एक बयान में कहा कि जैसा हमने अंदाजा लगाया था कि ब्रिटेन खास तौर पर सक्रिय है और वह स्वीकार नहीं कर पा रहा है कि 2018 के टूर्नामेंट की मेजबानी के लिए ईमानदार तरीके से रूस को चुना गया है। ब्रिटेन की प्रधानमंत्री टेरीजा मे के आरोपों पर प्रतिक्रिया देते हुए रूसी विदेश मंत्रालय की प्रवक्ता मारिया जखरोवा ने कहा कि उनके आरोप उकसावे पर आधारित सूचना और राजनीतिक अभियान का हिस्सा हैं। नाटो महासचिव जेंस स्टोलेनबर्ग ने कहा कि संगठन ब्रिटेन में रूस के डबल एजेंट पर हुए हमले से चिंतित हैं और इस संबंध में ब्रिटिश अधिकारियों के संपर्क में है। महासचिव कार्यालय की ओर से जारी स्टोलेनबर्ग के बयान के अनुसार, ब्रिटेन बहुत महत्वपूर्ण सहयोगी है और यह घटना नाटो के लिए बहुत चिंता का विषय है। नाटो इस मामले को लेकर ब्रिटिश अधिकारियों के संपर्क में है। मिली जानकारी के अनुसार सरकार पुलिस और सुरक्षा सेवाओं के पास हत्या के प्रयास से मास्को के संबंधों को जोड़ने के लिये उनके पास पर्याप्त सबूत हैं। इस बात की अटकलें हैं कि बैठक के बाद ब्रिटिश सरकार रूस के खिलाफ कार्रवाई की घोषणा कर सकती है। ब्रिटेन के सार्वजनिक स्वास्थ्य अधिकारियों ने घटना की जानकारी देते हुए कहा कि तकरीबन 500 लोग इसलिए एक रेस्त्रां और पब में थे ताकि वे अपने सामान को साफ कर लें ताकि उस खतरनाक नर्व एजेंट के किसी भी निशान को हटाया जा सके जिसका इस्तेमाल लक्ष्य के खिलाफ किया गया था।