बड़ी समस्या : नोएडा की कई इमारतों में आई दरार, गाजियाबाद में 80 फ्लैटों के सैकड़ों लोग सड़क पर
गाजियाबाद/नोएडा : दिल्ली और एनसीआर में देर रात से रुक रुक कर बारिश हो रही है। इसके चलते दिल्ली और एनसीआर में सड़के तालाब में तब्दील हो गई हैं। कई स्थानों पर गाड़ियों के पानी में फंसकर ख़राब होने और ख़राब ट्रैफिक सिग्नल की वजह से सडकों पर जाम भी लग गया है। गाजियाबाद और नोएडा में ज्यादातर स्कूल बंद हैं। वहीं, बारिश के चलते इमारतों में दरारें आने का मामले लगातार सामने आ रहे हैं। जानकारी मिल रही है कि नोएडा सेक्टर-121 की एक सोसायटी की इमारत में दरार आ गई है, जिसके चलते इसे खाली कराने की बात कही जा रही है। उधर, नोएडा के रायपुर गांव में बेसमेंट खुदाई के दौरान तीन मकानों में दरार आ गई है। इसको लेकर गांव में हड़कंप मच गया है। जानकारी के बाद नोएडा प्राधिकरण अधिकारी हरकत में आ गए, मौका मुआयना करने पहुंचे। आनन-फानन में तीनों मकानों को खाली कराया। इसमें कुछ छात्र सहित करीब 14 परिवार रह रहे थे। नोएडा प्राधिकरण अधिकारियों को गुरुवार को पता चला था कि रायपुर गांव के खसरा संख्या 462 में तीन भवन बने हुए हैं। यह भवन तीन से छह मंजिला हैं। इसके बगल में एक बेसमेंट की खोदाई चल रही है, इस कारण बगल के तीनों मकानों में गहरी दरारें आ गई हैं। इन तीनों भवनों को आबादी के मध्य बनाया गया है, जो तीन से 6 मंजिला के बीच है। ऐसे में आनन फानन में प्राधिकरण ओएसडी राजेश सिंह के साथ वरिष्ठ प्रबंधक, जेई सहित अन्य अधिकारी जांच के लिए पहुंचे।
हालांकि प्राथमिक जांच में यह चीज स्पष्ट नहीं हो सकी कि तीनों भवनों में दरार बगल में खोद रहे बेसमेंट के कारण है या किसी अन्य कारण से इसकी जांच को आगे बढ़ाने की बात कही गई, जिससे यह स्पष्ट किया जा सके कि इन कारणों से भवनों में क्रेक आया है। इस दौरान मौजूद भूलेख विभाग, नोएडा पुलिस और वर्क सर्किल के अधिकारियों एवं कर्मचारियों तीनों भवनों को खाली करने का आदेश जारी कर दिया। बताया जाता है कि इन भवनों में कई छात्र किराए पर रह रहे थे, करीब 13 से 14 परिवार निवास कर रहे थे। जिन्हें गांव के ही दूसरे खाली भवनों में शिफ्ट कर दिया गया है। देर रात तक इमारत को सील करने की कार्रवाई की जा रही थी। भवन निर्माणदाता को नोटिस जारी किया गया। साथ ही क्षेत्रीय पुलिस को भी सूचित किया गया है कि वह भी अपने स्तर से इस मामले पर कार्रवाई करें। गाजियाबाद में कैला भट्टा रोड स्थित गौशाला फाटक के पास रेलवे की दीवार गिर गई। इससे दीवार के बगल में खड़ीं कई गाड़ियां दब गईं। वहीं, दिल्ली से सटे वसुंधरा के वार्तालोक और प्रज्ञा कुंज सोसायटी के पास वसुंधरा सेक्टर चार सी में गुरुवार सुबह तेज बारिश के दौरान दो जगह सड़क धंसने से हड़कंप मचा हुआ है। आनन-फानन में दोनों सोसायटी में रहने वाले लोग फ्लैटों से बाहर आ गए। सोसायटी के पड़ोस के बालाजी बिल्डर के प्लॉट में बेसमेंट के लिए खोदे गए गड्ढे में पानी भरने से मिट्टी कट गई और सड़क धंस गई। सड़क पर दो जगह करीब तीस फीट गहरा और 35 फीट चौड़ा गड्ढा हो गया।
सूचना के करीब दो घंटे बाद पहुंची पुलिस, प्रशासन, एनडीआरएफ, नगर निगम और आवास विकास परिषद (आविप) की टीम ने 80 फ्लैट खाली करवाए। दोपहर को बेसमेंट और धंसी सड़क में मलबा भरने का काम शुरू हुआ जो देर रात तक जारी रहा। इस दौरान रात भर बिजली नहीं थी और पानी भी नहीं आया। वसुंधरा सेक्टर चार सी में स्थित वार्तालोक सोसायटी में 326 और प्रज्ञा कुंज सोसायटी में 576 फ्लैट हैं। दोनों सोसायटियों के सामने करीब छह साल से बालाजी बिल्डर्स का प्लॉट है। प्लॉट का बेसमेंट लंबे समय से खुदा है। हालांकि प्लॉट का मालिक सचिन दत्ता जेल में है। इसके चलते आवास विकास परिषद का फ्लैट मालिक से उच्चतम न्यायालय में विवाद चल रहा है। बेसमेंट के लिए खोदे गए गड्ढे में कई दिन से बारिश का पानी लगातार भर रहा था। बृहस्पतिवार सुबह करीब सात बजे तेज बारिश के दौरान अचानक प्लॉट की मिट्टी खिसक गई और दोनों ओर की करीब तीस फीट लंबी सड़क धंस गई। सड़क धंसते ही दोनों सोसायटी के लोग बाहर भागे और सोसायटी के कंपाउंड में इकट्ठा हो गए। लोग हाहाकार करने लगे और जान बचाने की गुहार लगाई। वार्तालोक सोसायटी के 64 और प्रज्ञा कुंज के 16 फ्लैटों को पूरी तरह खाली करवाया गया। देर शाम तक लोग भूखे-प्यासे परेशान दिखे। लोगों ने बताया कि सात बजे यहां से स्कूल बस गुजरती है, बारिश के चलते वह लेट हो गई थी। वरना बड़ा हादसा हो सकता था। सुबह करीब दस बजे नेशनल डिजास्टर रिस्पांस फोर्स (एनडीआरएफ) की टीम मौके पर पहुंची। हालांकि लोगों को रोकने के अलावा टीम कुछ काम नहीं कर सकी। करीब 11 बजे एडीएम सिटी हिमांशु गौतम और आविप के अधिकारी राहत कार्य की रूपरेखा तैयार करने लगे। एडीएम सिटी ने मलबा लाकर बेसमेंट भरने को कहा तो आविप अधिकारियों से उनकी बहस हो गई। करीब सात घंटे बाद दोपहर करीब दो बजे राहत कार्य शुरू हो सका। एडीएम ने बताया कि सड़क के पानी को कुछ लोगों ने नाली बनाकर बेसमेंट में डाल दिया था। इस पानी से मिट्टी का कटान हुआ और सड़क धंस गई है। बेसमेंट का भराव कराकर जल्द ही सोसायटियों के खतरे को पूरी तरह टाला जाएगा।