अन्तर्राष्ट्रीयफीचर्ड

सुरक्षा, रक्षा के क्षेत्र में सहयोग प्रगाढ़ करेंगे भारत और मलेशिया: पीएम मोदी

151122062159_narendra_modi_624x351_reuters

पुत्राजया (मलेशिया) : प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सोमवार को कहा कि भारत और मलेशिया सुरक्षा एवं रक्षा के क्षेत्र में सहयोग को गहरा करेंगे। साथ ही उन्होंने जोर दिया कि दुनिया भर में हुए हालिया हमले और भारत तथा अफगानिस्तान के खिलाफ लगातार आतंकी हमलों की कोशिश आतंकवाद की वैश्विक प्रकृति की याद दिलाती है।

 मोदी ने चरमपंथ और कट्टरपंथ से लड़ने में नेतृत्व मुहैया कराने, आतंकवाद एवं धर्म में किसी भी तरह के संबंध को खारिज करने तथा ‘इस्लाम के वास्तविक मूल्यों’ को उजागर करने के लिए अपने मलेशियाई समकक्ष नजीब रजाक की सराहना भी की। कुआलालंपुर के बाहरी हिस्से में फैली प्रशासनिक राजधानी पुत्राजया में नजीब के साथ अपनी बातचीत के बाद संयुक्त संवाददाता सम्मेलन में उन्होंने कहा कि सुरक्षा के क्षेत्र में हमारे सहयोग के लिए मैं खास तौर पर आपका आभारी हूं। यह हमारी सुरक्षा चुनौतियों से निपटने में हमारी साझा प्रतिबद्धता रेखांकित करता है। हम इस क्षेत्र में अपने सहयोग लगातार प्रगाढ़ करते रहेंगे।

आसियान तथा पूर्वी एशिया शिखर सम्मेलनों में हिस्सा लेने के लिए यहां आए मोदी ने कहा कि ‘भारत और अफगानिस्तान के खिलाफ लगातार आतंकी हमलों की कोशिश का जिक्र नहीं भी करें’ तो विभिन्न देशों में हाल ही में हुए हमले इस खतरे की वैश्विक प्रकृति की याद दिलाते हैं। चरमपंथ और कट्टरपंथ से निपटने में नजीब के नेतृत्व की सराहना करते हुए मोदी ने कहा कि यह इस चुनौती के खिलाफ वैश्विक प्रयासों का एक महत्वपूर्ण पहलू, बहुत बड़ा योगदान है। उन्होंने आतंकवाद को दुनिया का ‘सबसे बड़ा खतरा’ बताते हुए कल कहा था कि इसे धर्म से अलग करना चाहिए। सुरक्षा एवं रक्षा सहयोग के बारे में मोदी ने बताया कि दोनों देश क्षेत्र में नौवहन सुरक्षा को आगे बढ़ाने तथा आपदा प्रतिक्रिया को पुख्ता बनाने के साथ ही इस सहयोग को मजबूत बनाएंगे।

उन्होंने कहा कि हम अपने द्विपक्षीय संबंधों तथा भारत-आसियान समझौतों की पूरी क्षमता का उपयोग करना चाहते हैं। हम क्षेत्रीय व्यापक आर्थिक भागीदारी समझौता के शीर्ष निष्कर्ष के आकांक्षी हैं। मोदी ने द्विपक्षीय रणनीतिक भागीदारी को एक नयी उंचाई तक ले जाने का भरोसा जताया। भारत और मलेशिया ने साइबर सुरक्षा, संस्कृति और लोक प्रशासन के संबंध में सहमति पत्रों पर हस्ताक्षर भी किए।

मोदी के साथ संयुक्त संवाददाता सम्मेलन को संबोधित करते हुए मलेशियाई प्रधानमंत्री रजाक ने कहा कि सरकार से सरकार के स्तर पर अनुबंध के तहत नई दिल्ली में एक नया कन्वेंशन सेंटर निर्मित किया जाएगा। मोदी ने कहा कि हमने एक विविधतापूर्ण आर्थिक साझेदारी स्थापित की है। हम एक ही नौवहन मार्ग पर स्थित हैं। उन्होंने कहा कि आधारभूत संरचना क्षेत्र में मलेशिया की क्षमता से सभी परिचित हैं और मलेशिया ने सड़क क्षेत्र समेत भारत में कई महत्वपूर्ण परियोजनाओं को पूरा किया है।

प्रधानमंत्री ने कहा कि वह आधारभूत संरचना, मेक इन इंडिया और स्मार्ट सिटी परियोजनाओं के उन्नयन और विस्तार जैसे क्षेत्रों में मलेशिया की वृहद हिस्सेदारी देखना चाहते हैं। उन्होंने कहा कि मलेशिया में भारतीय कंपनियों की मजबूत उपस्थिति है। इरकान रेल आधारभूत संरचना के क्षेत्र में योगदान कर रहा है। हम मलेशियाई अर्थव्यवस्था में भारत की मौजूदगी के स्तर को बढ़ाना चाहते हैं। मोदी ने कहा कि वह और उनके मलेशियाई समकक्ष ठोस और शीघ्र परिणाम प्रदर्शित करने के लिए कदमों को उठाने को प्रतिबद्ध हैं। उन्होंने कहा कि मुझे इस बात की खुशी है कि हम अपने लोक प्रशासन और शासन के क्षेत्र में शानदार सहयोग कर रहे हैं। मैंने व्यक्तिगम तौर पर पीईएमएएनडीयू के साथ चर्चा की है और मुझे खुशी है कि हमारा नीति आयोग उनके साथ काम करेगा। प्रधानमंत्री ने कहा कि दोनों देश सांस्कृतिक और जनता से जनता के स्तर पर संबंधों को विशेष महत्व देंगे।

प्रधानमंत्री ने कहा कि इस बात को लेकर मैं प्रसन्न हूं कि हम अपने संयुक्त अभ्‍यासों को उन्नत करने तथा एसयू-30 फोरम की स्थापना करने के लिए सहमत हो गए हैं। उन्होंने बताया कि दोनों देश अभ्‍यासों के स्तर एवं जटिलता के संदर्भ में तथा प्रशिक्षण एवं रक्षा उपकरणों में सहयोग पर अधिक कदम उठाएंगे। मोदी ने कहा कि साइबर सुरक्षा में सहयोग के लिए हमारा समझौता बहुत महत्वपूर्ण है। हमारा जीवन इंटरनेट से ज्यादा जुड़ता जा रहा है और यह मुद्दा हमारे युग की सर्वाधिक गंभीर चिंता के तौर पर उभर रहा है। प्रधानमंत्री ने कहा कि वह नजीब के इस विश्वास से सहमत हैं कि द्विपक्षीय व्यापार और निवेश संबंधों को उल्लेखनीय रूप से उपर उठाया जा सकता है।

Related Articles

Back to top button