अजब-गजब

यहाँ महिलाओं और बच्चों के बिना खुद को अधूरा समझते हैं पुरुष

महिलाएं कितनी मेहनती होती हैं, यह तो हम सब जानते हैं ही। आज न सिर्फ घर के कामों में बल्कि घर के बाहर की जिम्मेदारियां उठाने में भी वह आगे हैं। हर क्षेत्र में उनका दबदबा है, फिर भी महिलाओं को कम आंका जाता है। लेकिन ऐसे कुछ देश भी हैं, जो महिलाओं की मेहनत की कद्र करते हैं। वियतनाम की जनजाति ह्मॉन्ग में, महिलाओं पर बहुत जिम्मेदारियां होती हैं। घर के कामों के साथ-साथ वह अपने परिवार के अन्य लोगों की अन्य कामों में भी मदद करती हैं।यहाँ महिलाओं और बच्चों के बिना खुद को अधूरा समझते हैं पुरुष

जब उनके पति खेती करने जाते हैं, तो वह उनके साथ भी हाथ बंटाती हैं और फिर पूरे घर को संभालती हैं। वहीं, ह्मॉन्ग जनजाति के पुरुषों का मानना है कि महिलाओं के बिना उनके काम आसान नहीं, क्योंकि वह बच्चों की देख-रेख करने के साथ ही उनकी मदद भी करती है। आज भी वहां घर के महत्वपूर्ण फैसले सिर्फ मर्द लेते हैं, लेकिन उसमें महिलाओं की हामी भी जरूर होती है। ह्मॉन्ग महिलाएं बचपन से ही घर के सारे काम सीखती हैं। आठ-नौ साल की उम्र से ही घर की बच्चियों को सभी कामों में प्रशिक्षित किया जाता है।

हालांकि पहले महिलाएं सिर्फ घरों तक सीमित थीं, लेकिन आज बदलते वक्त में ह्मॉन्ग जनजाति में भी बदलाव आए हैं। वहां की बच्चियां अब घरों से बाहर भी आने लगी हैं। महिलाएं, उनके क्षेत्र में पर्यटकों की गाइड भी बनती हैं और अपने पतियों का साथ खेत-खलिहान में भी देती हैं। वहां का पुरुष समाज भी इसका स्वागत करता है और अपने घर की महिलाओं का सम्मान करता है। कभी-कभार अपनी पत्नियों के लिए खास वक्त निकालते हैं और जश्न मनाते हैं।

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