शिक्षा पद्धति के नवीनीकरण पर चिंतन में जुटे देश-विदेश के शिक्षाविद
इण्टरनेशनल राउण्डटेबल कान्फ्रेन्स ‘एड लीडरशिप-2017’ का भव्य उद्घाटन
लखनऊ : तीन दिवसीय इण्टरनेशनल राउण्डटेबल कान्फ्रेन्स ‘एड लीडरशिप-2017’ एवं ‘ग्लोबल एजूकेशन रिसर्च कान्फ्रेन्स’ का भव्य उद्घाटन आज प्रातः सी.एम.एस. कानपुर रोड ऑडिटोरियम में हुआ। अमेरिका से पधारे शिक्षाविद् श्री जोनाथन बर्जमैन एवं सिटी मोन्टेसरी स्कूल की प्रेसीडेन्ट, प्रो. गीता गाँधी किंगडन ने दीप प्रज्वलित कर सम्मेलन का विधिवत शुभारम्भ हुआ। इस अवसर पर सिटी इण्टरनेशनल स्कूल, मानस इन्क्लेव, इन्दिरा नगर, के छात्रों द्वारा शिक्षात्मक-साँस्कृतिक कार्यक्रमों की मनोहारी प्रस्तुतियों के बीच सम्मेलन की संयोजिका डा. सुनीता गाँधी ने देश-विदेश से पधारे शिक्षाविदों का हार्दिक स्वागत-अभिवादन किया एवं सम्मेलन के उद्देश्यों पर अपने विचार रखे। विदित हो कि शैक्षिक संस्था ‘एजुकेशन वी वान्ट’ के तत्वावधान में 5 से 7 अक्टूबरर तक इण्टरनेशनल राउण्डटेबल कान्फ्रेन्स ‘एड लीडरशिप-2017’ एवं ‘ग्लोबल एजूकेशन रिसर्च कान्फ्रेन्स’ का आयोजन सी.एम.एस. कानपुर रोड ऑडिटोरियम में किया जा रहा है, जिसमें अमेरिका, सिंगापुर, कनाडा एवं भारत के विभिन्न प्रान्तों से पधारे लगभग 300 शिक्षाविद्, प्रधानाचार्य, शिक्षक आदि प्रतिभाग कर रहे हैं तथापि एक अन्तर्राष्ट्रीय मंच पर शिक्षा पद्धति के विश्वव्यापी रुझान एवं नवीनीकरण पर चिंतन-मनन व मंथन कर शिक्षा पद्धति को नया आयाम दे रहे हैं।
सम्मेलन के प्रातःकालीन सत्र में परिचर्चा का शुभारम्भ अमेरिका से पधारे प्रख्यात शिक्षाविद् जॉन बर्जमैन के सारगर्भित अभिभाषण से हुई, जिन्होंने ‘टीचिंग, लर्निंग एण्ड लीडिंग इन अनप्रेसीडेन्टेड टाइम्स’ विषय पर बोलते हुए कहा कि शिक्षा द्वारा हम समाज में ऐतिहासिक परिवर्तन ला सकते हैं। शिक्षा में ज्ञान, बुद्धिमत्ता, प्रभावशाली अभिव्यक्ति और आध्यात्मिक दृष्टिकोण का सुन्दर समावेश होना आवश्यक है तभी शिक्षा परिपूर्ण बनती है। अपरान्हः सत्र में भी शिक्षाविदों की परिचर्चा का दौर जारी रहा, जिसके अन्तर्गत ‘न्यू ट्रेंड एण्ड इनोवेशन्स इन एजूकेशन: व्हाट्स न्यू एण्ड एक्जाइटिंग द वर्ल्ड ओवर’ एवं ‘एजूकेटिंग द मिलेनियल्स’ विषय पर अपने विचार रहे। परिचर्चा में भाग लेते हुए ई.डी.एक्स., नई दिल्ली के कन्ट्री हेड अमित गोयल ने कहा कि शिक्षा जितनी बाँटी जायेगी उतनी ही बढ़ेगी और इसके प्रकाश से सारी मानवता को लाभ होगा। सिल्वर ओक्स इण्टरनेशनल स्कूल, हैदराबाद की निदेशिका सीथा मूर्ति का कहना था कि आज शिक्षा में नवीनीकरण की बेहद आवश्यकता है। हमें उत्कृष्टता तो लानी ही है, साथ ही भविष्य में आने वाली समस्याओं के समाधान अभी से सोचकर निकालने होंगे। इसी प्रकार कई अन्य शिक्षाविदों ने पेपर प्रजेन्टेशन, मल्टीमीडिया प्रजेन्टेशन, पैनल डिस्कशन आदि के माध्यम से शिक्षा को अधिक उपयोगी एवं रोचक बनाने के तौर-तरीकों पर अपने विचार रखे।
इस अन्तर्राष्ट्रीय सम्मेलन की संयोजिका डा. सुनीता गाँधी ने कहा कि किसी भी देश का भविष्य उसकी शिक्षा पद्धति पर निर्भर करता है। हमारे अपने देश में शिक्षा के क्षेत्र में हालांकि उल्लेखनीय प्रगति हुई है, इसके बावजूद बच्चों की बहुत बड़ी संख्या अभी भी गुणात्मक शिक्षा से वंचित है। उन्होंने जोर देते हुए कहा कि इस अन्तर्राष्ट्रीय सम्मेलन के माध्यम से विभिन्न देशों के अनुभवों से लाभ उठाते हुए हम आशातीत सफलता प्राप्त कर सकते हैं। डा. सुनीता गाँधी ने बताया कि इस अन्तर्राष्ट्रीय सम्मेलन के अन्तर्गत देश-विदेश से पधारे शिक्षाविदों की सारगर्भित परिचर्चा का दौर कल 6 अक्टूबर को भी जारी रहेगा। इसके अलावा, सम्मेलन के समापन अवसर पर उदीयमान शिक्षाविदों को नवीन विचारों, खोजों व बदलावों हेतु प्रेरित करने के उद्देश्य से इनोवेशन इन प्रोसेस फेलोशिप एवं एजूकेशन इनोवेटर अवार्ड से नवाजा जायेगा।