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सीबीआई की बड़ी कार्रवाई, हुड्डा और वोरा के खिलाफ चार्जशीट दाखिल
![सीबीआई की बड़ी कार्रवाई, हुड्डा और वोरा के खिलाफ चार्जशीट दाखिल](https://dastaktimes.org/wp-content/uploads/2018/12/cbi-s_650_061516083457.jpg)
नेशनल हेराल्ड के स्वामित्व वाली एसोसिएट जर्नल्स लिमिटेड (एजेएल) को प्लॉट दोबारा आवंटित करने के मामले में सीबीआई ने हरियाणा के पूर्व मुख्यमंत्री भूपेंद्र सिंह हुड्डा और एजेएल के अध्यक्ष मोतीलाल वोरा के खिलाफ आरोप पत्र दायर किया है। आरोप पत्र आईपीसी की धारा 120बी, 420, 13(2) और 13(1) के तहत दाखिल किया गया है।
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बता दें कि भूपेंद्र सिंह हुड्डा पर आरोप है कि उन्होंने सीएम रहते हुए नेशनल हेराल्ड की सब्सिडी एसोसिएट्स जनरल लिमिटेड (एजेएल) कंपनी को 2005 में 1982 की दरों पर प्लॉट अलॉट करवाया। मामले में फर्जीवाड़ा और भ्रष्टाचार के आरोप में हरियाणा विजिलेंस विभाग ने अप्रैल-2016 में मामला दर्ज किया था।
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बता दें कि भूपेंद्र सिंह हुड्डा पर आरोप है कि उन्होंने सीएम रहते हुए नेशनल हेराल्ड की सब्सिडी एसोसिएट्स जनरल लिमिटेड (एजेएल) कंपनी को 2005 में 1982 की दरों पर प्लॉट अलॉट करवाया। मामले में फर्जीवाड़ा और भ्रष्टाचार के आरोप में हरियाणा विजिलेंस विभाग ने अप्रैल-2016 में मामला दर्ज किया था।
मामले में सीबीआई ने एआईसीसी के पूर्व कोषाध्यक्ष मोतीलाल वोरा को भी पार्टी बनाया हुआ है। विजिलेंस द्वारा दर्ज एफआईआर के आधार पर सीबीआई भी जांच कर चुकी है। जांच पूरी करने के बाद राज्य सरकार से अभियोग की मंजूरी मांगी थी। सरकार ने एडवोकेट जनरल से कानूनी राय लेने के बाद मामले को राज्यपाल सत्यदेव नारायण आर्य की मंजूरी के लिए भेज दिया था, जिसे स्वीकार कर लिया गया था और अभियोजन पेश करने की मंजूरी दे दी गई थी। ऐसे में अब हुड्डा को इस मामले में भी मुकदमे का सामना करना पड़ेगा।
राज्यपाल से मंजूरी लेना इसलिए जरूरी था, चूंकि बदले नियमों के तहत पूर्व सीएम के खिलाफ अभियोजन चलाने के लिए राज्यपाल की मंजूरी जरूरी है। बता दें कि इस मामले में सीबीआई ने उन अधिकारियों को दोषी नहीं पाया है, जिनके केस के साथ नाम जुड़े थे।