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सुनंदा मर्डर केस में आया नया मोड़, टैप हुए थे थरूर के करीबियों के फोन

दस्तक टाइम्स/एजेंसी-
sunanda-mainनई दिल्ली: सुनंदा पुष्कर मौत में एक बार फिर नया मोड़ सामने आया है। दिल्ली पुलिस ने शशि थरूर के कुछ बेहद करीबी लोगों के फोन टैप किए थे। एक अंग्रेजी अखबार के मुताबिक, टेपिंग के लिए परमिशन मोदी सरकार के गृह मंत्रालय की ओर से दी गई थी। यह फोन टेपिंग थरूर की पत्नी सुनंदा पुष्कर की संदिग्ध मौत के बाद हुई थी। बता दें कि 17 जनवरी 2014 को सुनंदा की लाश दिल्ली के लीला होटल के एक कमरे में पाई गई थी। सूत्रों के मुताबिक, सुनंदा की मौत के तुरंत बाद पांच या छह नंबरों पर होने वाली बातचीत को टैप किया गया था। टेपिंग का सिलसिला करीब एक महीने तक चला। जो फोन टेपिंग हुई उसमें थरूर की आवाज भी सुनाई देती है।
गृह मंत्रालय के मुताबिक, यह टेपिंग कानून के मुताबिक की गई थी। इंडियन टेलिग्राफ एक्ट (1885) के सेक्शन 5 (2) के तहत यह फोन टेपिंग हुई। इस कानून के मुताबिक, पब्लिक सेफ्टी, देश की एकता पर खतरा, राज्य की सिक्युरिटी, दूसरे देशों से रिश्ते, लॉ एंड ऑर्डर बनाए रखने के लिए फोन टेपिंग की जा सकती है। हालांकि सुनंदा मामले में किस सेक्शन के तहत टेपिंग हुई, फिलहाल इसका पता नहीं लगाया जा सका है। वहीं इससे पहले थरूर ने दिल्ली पुलिस कमिश्नर बीएस. बस्सी को एक ईमेल भेजकर अपने करीबियों को परेशान करने के आरोप लगाए थे। थरूर ने कहा था कि पुलिस उनके करीबियों पर जुर्म कबूलने का दबाव डाल रही है।

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