जीवनशैली

12 से 16 घंटे की फास्टिंग करने से पहले जरुर जान लें ये बाते…

वजन कम करने के लिए लोग फास्टिंग को सबसे कारगर हथियार मानते हैं लेकिन उससे होने वाले फायदे और नुकसान के बारे में नहीं जानते हैं। एक ऐसी ही इन्टर्मिटन फास्टिंग है जो चलन में ज्यादा है। इन्टर्मिटन फास्टिंग में इंसान 12 से 16 घंटे तक कुछ भी नहीं खाता है। डाइटिंग के इस तरीके से वजन कम होता है लेकिन इसे करने से पहले कुछ बातों के बारे में जरूर जान लेना चाहिए।

इन्टर्मिटन फास्टिंग कई तरह की होती है, इसे करने से पहले इसके सभी प्रकारों के बारे में जान लेना चाहिए। आपके लिए कौन सी फास्टिंग सही है इसका चयन आप इसकी जानकारी के साथ डाइट एक्सपर्ट्स से बात करके ही करें। आइए जानते हैं इसके कुछ तथ्य।

दोपहर 12 से रात 8 के बीच 

इसके अनुसार आपको नाश्ता नहीं करना होता है और दोपहर 12 से रात 8 बजे के बीच खाना होता है।

सप्ताह में दो दिन फास्टिंग 

इस श्रेणी में एक हफ्ते में एक या दो बार 24 घंटे के लिए उपवास रखना शामिल है।

सप्ताह में कैलोरी काउंट 

सप्ताह में दो दिन 500-600 कैलोरी ले सकते हैं जबकि बाकी दिन नॉर्मल डायट प्लान फॉलो करना होता है

इन्टर्मिटन फास्टिंग के फायदे 

उपवास के दौरान आप खाना नहीं खाते हैं और कम कैलोरी लेते हैं जिससे वजन कम होता है। यह कम कैलोरी सेवन के कारण शरीर के मेटाबोलिक फंक्शन में सुधार भी करता है।

फास्टिंग और एक्सरसाइज 

उपवास के साथ स्ट्रेंथ ट्रेनिंग की सलाह दी जाती है जिससे कि बॉडी फैट बर्न हो, मसल्स नहीं। उपवास शरीर को कैलोरी कम करने देता है और ऊर्जा के लिए जमा फैट को उपयोग करने देता है। खपत की जाने वाली कैलोरी जली हुई कैलोरी से कम होती है जिससे वजन घटाने में मदद मिलती है।

कौन-कौन कर सकता है यह फास्टिंग ?

यह उपवास सबके लिए नहीं होता है, क्योंकि देर तक भूखा रहने से थकान, कमजोरी और चिड़चिड़ापन हो सकता है। अगर आप में ये लक्षण दिखें तो तुरंत फास्टिंग को रोक देना चाहिए। फास्टिंग करने से बेहतर विकल्प होता है कि आप हेल्थी डाइट लें।

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