14 वर्ष में सिर्फ एक बार खिलता है ये फूल, देखते ही हो जायेंगे मालामाल
प्राकृतिक चीजें सिर्फ खूबसूरत या फिर आकृषित ही नहीं, बल्कि कई गुणों से भरपूर होते हैं, जो हमारे लिए काफी गुणकारी भी साबित होते हैं. इन्ही में से कुछ ऐसी भी चीजें होती हैं, जिनमें दैवीय शक्ति पाई जाती है. उदाहरण के रूप में अगर हम देखें, तो पीपल, बरगद और तुलसी के पौधे जिनकी लोग पूजा करते हैं. साथ ही ये गुणों से भरपूर होते हैं.
इसके अलावा प्राकृति में मौजूद सभी नदियों की पूजा की जाती है. और यही नदियां हमारे लिए जल के रूप में जीवनदायनी होती हैं. इसी के साथ अगर हम फूलों की बात करें, तो फूलों से ही हम देवी-देवता को पूजते हैं. इसके अलावा एक ऐसा फूल है, जिसके बारे में हम अनजान हैं, लेकिन ये फूल साक्षात् दैवीय शक्ति से भरपूर है.
जी, हां आपक आज ब्रह्म फूल के बारे में बताने जा रहे हैं, जिसे ब्रह्मा जी का फूल माना जाता है. ये फूल आपको किसी साधारण से स्थान पर नही मिलेगा बल्कि ये फूल हिमालय की ऊंचाइयों पर ही मिलता है. इस फूल का अपना पौराणिक महत्व भी रखता है. इस फूल के बारे में ऐसा माना जाता है कि जिस भी व्यक्ति को ये फूल मिल जाता है उसकी सभी इच्छाएं पूरी हो जाती हैं. ये फूल कमल की तरह दिखता है, जिसका रंग सफेद होता है, जो देखने में काफी आकर्षक होता है. इस फूल की कई पौराणिक कथाएं हैंएक मान्यता अनुसार, जिस कमल पर सृष्टि के रचयिता स्वयं ब्रह्मा जी विराजमान हैं. वही, ब्रह्म कमल है, इसी में से कि सृष्टि के रचयिता ब्रह्मा जी की उत्पत्ति हुई थी.
वहीं, दूसरी पौराणिक कथा के अनुसार जब पांडव जंगल में वनवास पर थे, तब द्रौपदी भी पांडवों के साथ गई थीं. द्रौपदी, कौरवों द्वारा हुए अपने अपमान को भूल नहीं पा रही थी. इसके साथ ही वन की यातनाएं भी सह रहीं थी. जिसकी वजह से वे मानसिक कष्टों से परेशान थी. तभी अचानक उन्होंने पानी की लहर में बहते हुए सुनहरे कमल को देखा तो उनके सभी दर्द एक अलग ही खुशी में बदल गए. कमल को देखते हुए उनके मन में अलग सी आध्यात्मिक ऊर्जा का एहसास हुआ. जिसके बाद द्रौपदी ने अपने पति दुर्योधन को उस सुनहरे फूल की खोज के लिए भेजा. इसी खोज के दौरान भीम की मुलाकात हनुमान जी से हुई थी.
ब्रह्म फूल के बारे में एक मान्यता है कि जो भी व्यक्ति इस फूल को अपनी जिंदगी में एक बार देख लेता है., उसकी सभी इच्छाएं पूरी हो जाती हैं. इसे खिलते हुए देखना भी आसान नहीं है क्योंकि यह देर रात में खिलता है और केवल कुछ ही घंटों तक रहता है. ये फूल 14 साल में एक बार ही खिलता है, जिसकी वजह से इस फूल के दर्शन होना काफी मुश्किल है.