69 साल से किसी पंचायत चुनाव में वोट नहीं डालते ये लोग?
दस्तक टाइम्स एजेन्सी/ सोनीपत. हरियाणा यह हरियाणा के मेवात के दो गांव की कहानी है, जहां की आबादी आजादी मिलने के 69 साल बाद भी आज तक पंचायत के वोट ही नहीं डाल पाई है.
दिलचस्प बात यह है कि इन दोनों गांव (ठेगरी और ग्यासनियाबास) में आजादी के बाद से अब तक ना तो यहां कोई पंचायत चुनाव हुआ है और ना ही नगर परिषद का चुनाव. जबकि लोकसभा और विधानसभा में उन्हें वोटिंग का अधिकार है और वे वोट डालते भी हैं. ये दोनों गांव किसी पंचायत और नगर परिषद के अधीन नहीं आते हैं.
बुजुर्ग महिला मरियम का कहना है कि कई चुनाव आए और कई गए. विधानसभा और लोकसभा के दौरान वोट मांगने वालों का तांता भी लगा. चुनावी वायदे हुए और जल्द पंचायत बनाने के लॉलीपॉप भी दिए गए. सरकारें बदली. निजाम बदले, लेकिन यहां के लोगों का हाल नहीं बदला.
ग्रामीण उमरदीन का कहना है कि पंचायत नहीं होने की वजह से ना तो गांव में पानी की उचित व्यवस्था है. ना तो रास्ते और ना ही सड़कें हैं. करीब 70 साल बाद भी उनको किसी पंचायत चुनाव में वोट डालने का हक नहीं मिला.स्थानीय लोगों का कहना है कि ये उसी देश की तस्वीर है जहां इंटरनेट को गांव गांव पहुंचाकर उन्हें हाइटेक करने की बात कही जा रही हो और दूसरी तरफ ऐसे भी गांव हैं जहां की आबादी आजतक वोट ही ना कर पाई.