बेंगलूरू: संचार सेवाओं को विस्तार देने वाली भारतीय अंतरिक्ष क्षमताओं को बढ़ाते हुए नवीनतम उपग्रह जीसैट-16 का आज तड़के फ्रेंच गुयाना के कोरू प्रक्षेपण स्थल से एरियनस्पेस रॉकेट की मदद से सफल प्रक्षेपण किया गया। मौसम में खराबी के चलते इस प्रक्षेपण में दो दिन की देरी हुई। तड़के दो बजकर दस मिनट पर विमान वीए221 के जरिए एरिएन-5 की सफल उड़ान के 32 मिनट बाद उपग्रह को जीओसिंक्रोनस ट्रांसफर ऑर्बिट (जीटीओ) में प्रवेश करा दिया गया। प्रक्षेपण स्थल से एरियन श्रेणी के यानों द्वारा किया गया यह 221वां प्रक्षेपण है। एरियनस्पेस ने कहा कि दोहरे रॉकेट अभियान के तहत प्रक्षेपित किया गया जीसैट-16 अपने साथ गए डायरेक्ट टीवी-14 अंतरिक्ष यान के चार मिनट बाद अंतरिक्ष में प्रवेश कर गया। जीसैट-16 में 48 ट्रांसपांडर लगे हैं और यह संख्या इसरो द्वारा बनाए गए किसी भी संचार उपग्रह में लगाए गए ट्रांसपांडरों की संख्या से ज्यादा है। डायरेक्ट टीवी-14 अमेरिका में डायरेक्ट-टू-होम टीवी के प्रसारण के लिए है। प्रक्षेपण के कुछ ही समय बाद कर्नाटक के हासन स्थित इसरो की मास्टर कंट्रोल फैसिलिटी (नियंत्रक प्रतिष्ठान) ने जीसैट-16 की कमान और नियंत्रण अपने हाथों में ले लिया और कहा कि शुरुआती जांच में उपग्रह सामान्य हालत में पाया गया है। एजेंसी