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जानें क्यों कम होने लगा है शिवपाल सिंह यादव का समाजवादी पार्टी से लगाव

लखनऊ। समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव के बाद अब पार्टी के संरक्षक मुलायम सिंह यादव की बेरुखी का असर पूर्व कैबिनेट मंत्री शिवपाल सिंह यादव पर दिखने लगा है। इटावा के जसवंतनगर से समाजवादी पार्टी के विधायक शिवपाल सिंह यादव के साथ ही उसके समर्थकों की गाडिय़ों के काफिला से इसका संकेत मिलने लगा है। जानें क्यों कम होने लगा है शिवपाल सिंह यादव का समाजवादी पार्टी से लगाव

इटावा में जिला सहकारी बैंक के वार्षिक अधिवेशन में शिवपाल सिंह यादव तथा काफिले में चल रहे कार्यकताओं की गाडिय़ों से समाजवादी पार्टी के झंडे गायब थे। बस इसी के बाद से अटकलों का सिलसिला शुरू हो गया। इस बाबत शिवपाल सिंह यादव ने सफाई भी दी कि कार उनकी नहीं है। उनकी कार तो दिल्ली में सर्विस के लिए गयी है। जब उनसे पूछा गया कि आपके साथ काफिले में चल रही कार्यकर्ताओं की भी कारों से पार्टी का झंडा गायब है तो वह इसका कोई भी जवाब नहीं दे सके। शिवपाल ने कहा कि वह अब वो अपने सारे कार्यकर्ताओं की कार पर झंडा तो नहीं लगाएंगे। 

शिवपाल सिंह यादव ने इसके बाद हल्के-फुल्के अंदाज में कहा कि वह अभी जिस कार में चल रहे हैं उसमें झंडा लगाने की जगह नहीं है। इससे पहले उन्होंने मीडिया कर्मी के सवाल का जवाब देते हुए कहा था कि अभी इस बारे में बताने का समय नहीं है। इशारों-इशारों में उन्होंने कहा कि हम तो अपने कार्यकर्ताओं के सम्मान की रक्षा करेंगे। अपने भविष्य के कदम के बारें उन्होंने सिर्फ इतना ही कहा समय का इंतजार करो। समय आने पर सब कुछ बताएंगे। 

शिवपाल सिंह यादव ने मुलायम सिंह यादव के कदम पर भी अपनी बात कहने से गुरेज नहीं किया। उन्होंने कहा कि नेताजी (मुलायम सिंह यादव) ने उनकी बात मानी होती तो आज उत्तर प्रदेश और बिहार में समाजवादी पार्टी एवं सहयोगी दलों की सरकार होती। नेताजी तो राष्ट्रपति पद के उम्मीदवार बनते। अब वह सभी सेक्युलर ताकतों को जोड़ेंगे।

उन्होंने कहा कि अब उनको किसी भी बात का लालच नहीं है। पांच बार से विधायक रहे, आठ वर्ष मंत्री रहे और बीते 30 वर्ष से सहकारी बैंक के अध्यक्ष हैं। अब क्या रह गया है। अब किसी पद का लालच नहीं रहा। उन्होंने कहा कि शकुनी, शिखंडी, चापलूसों और बेईमानों के रहते सरकार नहीं आ सकती। चापलूस और बेईमानों से बचना है तो सावधान रहना होगा। यदि नेता जी सावधान रहते तो कुछ नहीं होता। कितने लोग पार्टी में शामिल हो रहे थे, छोटे-छोटे दल सपा में विलय कर रहे थे। 

अपनी उपेक्षा से आहत शिवपाल सिंह यादव ने कहा कि प्रदेश की जनता भाजपा सरकार की विफलताओं से जनता परेशान है। विपक्ष तो जरा सा भी अपनी जिम्मेदारी का निर्वाह नहीं कर रहा। उन्हें यदि जिम्मेदारी मिलती तो सिकंदरा का विधानसभा उपचुनाव नहीं हारते। उन्होंने औरैया जिला पंचायत अध्यक्ष के चुनाव में तंज कसते हुए कहा कि इस मसले पर जहां जेल भरनी चाहिए थी वहां पिट गए।

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