भारतीय इंजीनियर को मारने वाले को अमेरिकी अदालत ने 50 साल की सजा सुनाई
डोनाल्ड ट्रंप के राष्ट्रपति बनने के बाद अमेरिका में कई नस्लवादी हमले हुए थे। वहां एक सिरफिरे 51 वर्षीय एडम प्यूरिंटन ने एक भरी भरे बार में ओपन फायरिंग करते हुए एक भारतीय इंजीनियर की हत्या कर दी थी। एडम को इंजीनियर श्रीनिवास कुचिभोतला के हत्या के मामले में दोषी करार दिया गया है।
उसे अमेरिका की एक अदालत ने बिना पेरौल के 50 साल कैद की सजा सुनाई है। प्यूरिंटन के द्वारा की गई ओपन फायरिंग में दो अन्य जिसमें एक श्रीनिवास का दोस्त आलोक और ईयान ग्रिलॉट भी घायल हुए थे। जिस समय अमेरिका में ये वारदात हुई थी तब भारतीय विदेश मंत्रालय ने भारतीयों की सुरक्षा को लेकर सवाल उठाया था।
प्रत्यक्षदर्शियों ने बताया था कि हमलावर नस्लीय रूप से प्रेरित था और गोली मारने से पहले चिल्लाया था- ‘मेरे देश से निकल जाओ।’ यह हमला अमेरिका के कंसास राज्य स्थित ऑस्टिन्स ग्रिल एंड बार में उस वक्त हुआ था जब एक कंपनी में 32 वर्षीय एविएशन इंजीनियर श्रीनिवास कुचिभोतला एक भारतीय दोस्त आलोक मदासनी के साथ वहां पहुंचे थे। वहीं 51 वर्षीय एडम प्यूरिंटन नशे में बैठा था।
श्रीनिवास की हत्या 22 फरवरी 2017 को हुई थी। इस हमले में उसका दोस्त अलोक मदासनी गंभीर रूप से घायल हो गया था। दोनों अमेरिका पढ़ने गए थे और वहीं इंजीनियर बनने के बाद काम करने लगे थे। दोनों भारतीयों के साथ ईयान ग्रिलॉट भी घायल हुए थे जब वो बीच बचाव करने के लिए आगे आए थे।
कुचीभोतला की पत्नी सुनयना डुमला जो उस समय सुनवाई के दौरान वहां मौजूद नहीं थी लेकिन उन्होंने एक स्टेटमेंट जारी कर कहा है- प्यूरिंटन को दोषी करार दिए जाने के बाद देश में एक संदेश जाएगा कि नफरत की इस दुनिया में कोई जगह नहीं है।
उन्होंने कहा कि हमें एक दूसरे को समझना होगा साथ ही प्यार भी करना होगा। कोर्ट में पेश किए गए दस्तावेजों में बताया गया है कि प्यूरिंटन ने जब डेरोगेटरी कमेंट किए तो उसे बार से बाहर कर दिया गया था, लेकिन वह कुछ देर बाद बंदूक के साथ आया और अंधाधुंध फायरिंग शुरू कर दी थी।
दस्तावेजों में यह भी बताया गया है कि गोली बारी करने के बाद प्यूरिंटन 110 किलोमीटर पूर्व की तरफ गाड़ी से गया था। वहां क्लिंटन, मिसूरी के एक रेस्टोरेंट में रुका जहां उसने बारटेंडर को इस घटना की जानकारी दी थी जिसके बाद बारटेंडर ने पुलिस को बुलाकर उसे गिरफ्तार करा दिया था।