सावधान! पुरुष ही नहीं, महिलाएं भी हो सकती है नपुंसक, जाने कैसे
आज हम आपको महिलाओ से संबंधित कुछ ऐसी बातों से रूबरू करवाने जा रहे है, जिसके बारे में जान कर आप भी हैरान रह जायेंगे. जी हां आप लोगो ने कई बार पुरुषो के नपुंसक होने के बारे में तो सुना ही होगा. मगर क्या आपने कभी ये सुना है कि महिलाएं भी पुरुषो की तरह नपुंसक हो सकती है. यक़ीनन आपको ये जान कर हैरानी हो रही होगी, लेकिन ये सच है. बरहलाल कोई भी महिला बिना वजह नपुंसक नहीं हो सकती. इसलिए आज हम आपको बताएंगे कि आप महिलाओ की नपुंसकता के बारे में कैसे पता लगा सकते है और इसकी असली वजह क्या है. तो चलिए अब इसके बारे में जरा विस्तार से बात करते है.
१. अगर विज्ञानं की माने तो उसके अनुसार अगर किसी महिला या पुरुष के शरीर में संबंध बनाने के दौरान उत्तेजना पैदा नहीं होती, तो वो यक़ीनन नपुंसक हो सकते है. जी हां इस दुनिया में ऐसी कई महिलाएं जिनके शरीर में संबंध बनाते समय उत्तेजना उत्पन्न नहीं होती. वो इसलिए क्यूकि ऐसी महिलाओ के शरीर में एस्ट्रोजन नामक हार्मोन की कमी होती है. जिसके कारण महिलाएं नपुंसक हो जाती है.
२. इसके इलावा महिलाओ के नपुंसक होने का सबसे बड़ा कारण उनके शरीर में पोषक तत्वों की कमी है. दरअसल जब महिलाओ के शरीर में पौषक तत्वों की कमी होती है, तब उनके शरीर में एस्ट्रोजन नामक हार्मोन का ठीक से निर्माण नहीं हो पाता. जिस वजह से संबंध बनाते समय महिलाओ के शरीर में उत्तेजना नहीं होती.
३. इसके इलावा महिलाओ पर रिसर्च करने वाले एक डॉक्टर का कहना है कि महिलाओ में नपुंसकता का कारण उनके अंदर का तनाव और डिप्रेशन भी है. वो इसलिए क्यूकि तनाव के कारण महिलाओ के शरीर में उच्च रक्तचाप की समस्या उत्पन्न हो जाती है. जिसके कारण महिलाएं नपुंसकता का शिकार हो जाती है. वैसे भी आज के समय में शायद ही कोई महिला ऐसी होगी, जिसके जीवन में तनाव न हो. शायद यही वजह है कि आज कल ज्यादातर महिलाएं नपुंसकता का शिकार होने लगी है.
४. गौरतलब है कि जो महिलाएं कम उम्र में ही डाइबिटीज का शिकार हो जाती है, उनके शरीर में भी नपुंसकता की समस्या पैदा हो जाती है. वो इसलिए क्यूकि डाइबिटीज के कारण महिलाओ के शरीर में प्रोजेस्टेरोन का बनना बंद हो जाता है. जिसके कारण महिलाओ के शरीर में उत्तेजना उत्पन्न नहीं होती. जी हां यह भी महिलाओ के नपुंसक होने का एक बड़ा कारण है.
हालांकि आज के समय में सैरोगसी के कारण महिलाओ को अपनी इस कमी का एहसास नहीं होता. मगर ये समस्या महिलाओ के शरीर के लिए सही नहीं है. यानि अगर हम सीधे शब्दों में कहे तो भविष्य में यही समस्या महिलाओ के शरीर को खोखला कर सकती है. वैसे भी अगर शरीर में पोषक तत्वों की कमी रहेगी और दिमाग में तनाव ऐसे ही बढ़ता रहेगा तो इसका असर आपके जीवन पर भी पड़ेगा, जो कि आपके लिए सही नहीं है.
इसलिए अगर हो सके तो अपनी इस कमजोरी को नजर अंदाज न करे और डॉक्टर की सलाह जरूर ले.