मोहर्रम के जुलूस के दौरान कई जगह हिंसा, बवाल के बाद लाठीचार्ज
लखनऊ : मोहर्रम के जुलूस के दौरान प्रदेश में शनिवार को मातम के माहौल में भी हिंसा हो गई। इस दौरान सबसे अधिक बवाल गोरखपुर में हुआ। यहां पुलिस चौकी में तोडफ़ोड़ की गई, पुलिस जीप फूंकने के बाद दारोगा और होमगार्ड को पीटकर लहूलुहान कर दिया गया।
कुशीनगर, मेरठ, देवरिया और गोंडा में भी विवाद और बवाल हुआ। इस दौरान महराजगंज में नौ गांवों का जुलूस रोक दिया गया। गोरखपुर मंडल में मोहर्रम के मातम के दौरान कई जगह हिंसा हो गई। गोरखपुर के पिपराइच में ताजियादार के करंट से झुलसने पर गुस्साई भीड़ ने पुलिस भटहट पुलिस चौकी में तोडफ़ोड़ की। दारोगा, होमगार्ड को मारपीट कर लहूलुहान कर दिया। पुलिस जीप में आग लगाने के बाद कई अन्य राहगीरों के वाहनों को क्षतिग्रस्त कर दिया। कुशीनगर में कसया में कुरहवां व डिघवा बुजुर्ग गांव के बीच समझौता होने के बावजूद ताजिया के रास्ते को लेकर हुए विवाद के बाद पथराव हुआ। बवाल और पथराव में 12 लोग घायल हो गए। कसया में भीड़ ने एक सिपाही को दौड़ा कर पीटा। देवरिया के गौरीबाजार उपनगर के रामपुर चौराहे पर ताजिया जुलूस के दौरान करतब देखने गए एक किशोर की गर्दन कट गई जिससे वह गंभीर रूप से घायल हो गया। अफरातफरी के बीच किशोर को एक निजी अस्पताल में पहुंचाया गया, जहां चिकित्सक न होने पर लोगों ने जमकर हंगामा किया और तोडफ़ोड़ की। इसके अलावा रामपुर चौराहे पर मुख्य मार्ग जाम करते हुए यूपी 100 नंबर की गाड़ी, एक एंबुलेंस समेत आधा दर्जन से अधिक वाहनों को उग्र भीड़ ने क्षतिग्रस्त कर दिया। मौके पर पहुंची पुलिस ने वहां पर किसी तरह भीड़ को तितिर-बितर कर स्थिति को संभाला। तनाव को देखते हुए अधिकारी देर रात तक जमे हुए थे। महराजगंज में रास्ते के विवाद को लेकर नौ गांवों में ताजिया जुलूस रोक दिया गया। देर शाम तक इन सभी जगहों पर तनाव की स्थिति थी।
गोंडा में खरगूपुर थाना अंतर्गत ग्राम पंचायत भटपी के मजरा तुर्क पुरवा स्थित कर्बला पर ताजिया आगे-पीछे ले जाने को लेकर विवाद हो गया। मारपीट मेंं दो लोग गंभीर रूप से घायल हो गए। मेरठ में देहली गेट थाना क्षेत्र के घंटाघर के पास मोहर्रम के जुलूस में दो युवकों के वीडियो बनाने को लेकर बवाल हो गया। अफसरों ने मशक्कत के बाद स्थिति संभाली। इसके बाद भी कुछ शरारती तत्वों ने माहौल खराब करने की कोशिश की तो पुलिस ने लाठीचार्ज कर उन्हें खदेड़ दिया। बरेली में खजुरिया से ताजिये निकालने को लेकर सुबह शुरू हुए विवाद ने शाम होते-होते बड़े हंगामे का रूप ले लिया। लोगों ने पांच घंटे तक हाईवे जाम रखा। दिन में पुलिस ने खजुरिया व कलारी का विवाद तो सख्ती से निपटा लिया लेकिन, मोहनपुर ठिरिया का जुलूस नकटिया चौकी पर यह कहते हुए रुक गया कि जब तक कलारी के ताजिये उमरिया में दफन नहीं होंगे वे आगे नहीं बढ़ेंगे। इसके बाद तनाव बढ़ता चला गया। बाद में हरुनगला व परसौना के ताजिये भी आ गए। हजारों की भीड़ ने दिल्ली-लखनऊ हाईवे जाम कर दिया। भड़काऊ नारेबाजी शुरू कर दी। कई घंटों तक पुलिस अधिकारी समझाते रहे लेकिन भीड़ उग्र बनी रही। अफसरों ने भी सख्त रुख नहीं छोड़ा। आरएएफ समेत भारी फोर्स जुटा लिया। लाठीचार्ज की नौबत आ ही गई थी लेकिन, आखिरी क्षणों में भीड़ छंट गई।