दिल्ली: यमुना के पानी में डूबे 3 गांव, पेड़ पर चढ़े 4 लोगों को NDRF की टीम ने बचाया
हरियाणा के यमुना नगर स्थित हथिनीकुंड से रविवार को 8 लाख क्यूसेक पानी छोड़े जाने के बाद दिल्ली में यमुना नदी अपने उफान पर है। बुधवार शाम तक यमुना नदी का जलस्तर 207 मीटर पहुंचने की आशंका है। इससे पहले बुधवार तड़के यमुना में बढ़े जलस्तर से खादर में बने तीन गांव डूब गए। जिला प्रशासन ने आनन फानन में एनडीआरएफ की टीमें बुलाईं। एनडीआरएफ ने गांव में पहुंचकर चार लोगों को बाहर निकाला। ये चारों डूबने के डर से पेड़ पर चढ़ गए थे। जलस्तर बढ़ने से करंट न फैल जाए, इसलिए इलाके की बिजली बीएसईएस ने बिजली काट दी ही।
इससे पहले सुबह 11 बजे तक दिल्ली में यमुना का जलस्तर 206.60 पहुंच गया और लगातार जलस्तर बढ़ता ही जा रहा है। ऐसे में शाम तक जलस्तर 207 मीटर पहुंचने की आशंका है। जलस्तर बढ़ने से पुराना उस्मानपुर गांव, गड़ी मांडू नया व पुराना गांव, नानकसर और सोनिया विहार यमुना खादर की झुग्गियां पानी में डूब गई।
जिलाधिकारी शशि कौशल ने सुबह 10 बजे एनडीआरएफ की टीम को मौके पर बुलाया। टीम ने उस्मानपुर और गड़ी मांडू गांव से लोगों को पानी के बीच निकाला। हालांकि कई लोगों ने जगह खाली करने से इनकार किया, उनका कहना था कि उन्हें तैरना आता है और सारे रास्ते पता हैं कहा से बचना है। गड़ी मांडू में ऐसा नजारा भी देखने को मिला जब एक युवक ने भैंस के बछड़े को अपने कंधों पर उठा लिया, ताकि वह पानी मे डूब न जाए।
जलस्तर बढ़ने से प्रभावित हुए लोगों का हाल जानने के लिए भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष व उत्तरी पूर्वी दिल्ली के सांसद मनोज तिवारी कश्मीरी गेट स्थित किसान कॉलोनी पहुंचे। यहां उन्होंने बच्चों, महिलाओं समेत अन्य लोगों से बातचीत की और सरकार से मिलने वाली सुविधाओं के बारे में पूछा। उन्होंने लोगों का आश्वासन दिया कि इस मुश्किल घड़ी में वह उनके साथ खड़े हुए हैं। अतिरिक्त जिलाधिकारी एमके द्विवेदी ने बताया कि कुछ देर में दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल उस्मानपुर गांव का निरीक्षण करेंगे।