जब तक मैं हूं बंगाल का कोई भी व्यक्ति असहाय महसूस नहीं करें: ममता बनर्जी
कोलकाता: बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने सोमवार को कहा कि उनकी सरकार देश के विभिन्न हिस्सों में लॉकडाउन के चलते फंसे अपने राज्य के लोगों को वापस लाने के लिए हरसंभव कदम उठाने की कोशिश कर रही है। इसमें राजस्थान के कोटा में फंसे छात्र भी शामिल हैं।
ममता ने ट्वीट कर कहा कि जब तक मैं हूं राज्य के किसी भी व्यक्ति को असहाय महसूस नहीं करना चाहिए। मैं खुद इस मामले को देख रही हूं और अधिकारियों को निर्देश दिया है कि कोटा में फंसे छात्र सहित देश के विभिन्न हिस्सों में जहां भी बंगाल के लोग अटके हैं उनको वापस लाने के लिए पूरी मदद करें। उन्होंने कहा कि इसकी प्रक्रिया भी शुरू हो चुकी है और कोटा में फंसे बंगाल के सभी छात्र जल्द ही अपनी यात्रा भी शुरू करेंगे।
ममता ने ट्वीट किया, ‘लॉकडाउन के कारण देश के अलग-अलग हिस्सों में फंसे बंगाल के लोगों को उनके घर वापस लाने में बंगाल सरकार हरसंभव मदद करेगी। मैंने अपने अधिकारियों को ऐसे जरूरतमंदों की पूरी मदद करने का निर्देश दिया है। जब तक मैं यहां हूं, तब तक बंगाल का कोई भी व्यक्ति खुद को असहाय महसूस नहीं करें। मैं इन कठिन समय में आपके साथ हूं।’
दूसरे ट्वीट में मुख्यमंत्री ने कहा, ‘मैं व्यक्तिगत रूप से इसकी देखरेख कर रही हूं और हम यह सुनिश्चित करने में कोई कसर नहीं छोड़ेंगे कि सभी को हरसंभव मदद मिले। इसकी प्रक्रिया भी शुरू हो चुकी है और कोटा में अटके बंगाल के सभी छात्र जल्द ही अपनी यात्रा शुरू करेंगे।’
उल्लेखनीय है कि इससे पहले मुख्यमंत्री ने दूसरे राज्यों में फंसे बंगाल के प्रवासी श्रमिकों को पॉकेट मनी के रूप में ₹1000 की आर्थिक मदद की भी घोषणा की थी। यह देने की प्रक्रिया भी एक सप्ताह पहले ही शुरू हो चुकी है। इसके लिए एक मोबाइल ऐप भी लांच किया गया था, जिसके माध्यम से प्रवासी श्रमिकों को अनुरोध भेजने को कहा गया था। इसके सत्यापन के बाद राज्य सरकार उनके खाते में उक्त राशि भेज रही है।