अन्तर्राष्ट्रीय

आर्मीनिया ने नागोर्नो-काराबाख में मार गिराया अजबैजान का सुखोई-25 फाइटर जेट

येरेवान/बाकू : मध्‍य एशियाई देशों आर्मीनिया और अजरबैजान के बीच नागोर्नो-काराबाख में जारी भीषण जंग और तेज हो गई है। अजरबैजान की सेना के जोरदार हमले का सामना कर रहे आर्मीनिया ने जोरदार पलटवार करते हुए अजरबैजान के एक सुखोई-25 फाइटर जेट को मार गिराने का दावा किया है। उधर, अजरबैजान ने इस दावे का खंडन किया है।

पिता की देखभाल न करने पर उच्चतम न्यायालय ने लगाई बेटों को लताड़

आर्मीनिया के रक्षा मंत्रालय की प्रवक्‍ता शुशान स्टीपैनियन ने सोमवार को कहा कि काराबाख की सेना ने अजरबैजान के एक सुखोई-25 फाइटर जेट को मार ग‍िराया है। उन्‍होंने कहा, ‘अजरबैजान की वायुसेना तुर्की के F-16 फाइटर जेट के पहरे में सुखोई-25 फाइटर जेट को सीमा पर इस्‍तेमाल कर रही है। काराबाख की एंटी एयर डिफेंस यूनिट ने उत्‍तरी-पूर्वी इलाके में दुश्‍मन के सुखोई-25 जेट को मार ग‍िराया है।’ उधर, अजरबैजान ने आर्मीनिया के सुखोई-25 को मार गिराने के दावे का खंडन किया है। अजरबैजान ने अपने बयान में कहा, ‘आर्मीनिया के रक्षा मंत्रालय का एक और अजरी जेट को मार गिराने का दावा झूठ का पुलिंदा है जो उसके मायूसी से पैदा हुई है।

अजरबैजान अपने लड़ाकू विमानों का इस्‍तेमाल नहीं कर रहा है और हम मानवीय सीजफायर को पूरी तरह से लागू कर रहे हैं।’ उधर, स्‍वयंभू अर्तस्‍ख (नागोर्नो-काराबाख) देश के राष्‍ट्रपति ने कहा है कि शनिवार दोपहर से शुरू हुआ सीजफायर पूरी तरह से लागू नहीं है। आर्मीनिया और आजरबैजान ने रूस की मदद से संघर्ष विराम समझौता प्रभावी होने के बावजूद सोमवार को नागोर्नो-काराबाख क्षेत्र को लेकर एकदूसरे पर हमले करने के आरोप लगाए हैं। संघर्षविराम गत शनिवार को लागू हुआ था लेकिन दोनों पक्षों की इसके तुरंत बाद इसके उल्लंघन करने के दावे किये गए। यह सप्तांत में और सोमवार सुबह भी जारी रहा।

आर्मीनिया के रक्षा मंत्रालय की प्रवक्ता शुशान स्टीपैनियन ने सोमवार को कहा कि आजरबैजानी बल संघर्ष वाले ‘दक्षिणी मोर्चे पर व्यापक गोलीबारी कर रहे हैं।’ इस बीच आजरबैजानी रक्षा मंत्रालय ने इस बात पर जोर दिया कि आजरबैजान संघर्षविराम का पालन कर रहा है लेकिन आर्मीनियाई बल आजरबैजान के गोरनबॉय, तेरतेर और अगदम क्षेत्रों पर गोलाबारी कर रहे हैं जो कि नागोर्नो-काराबाख क्षेत्र के आसपास स्थित हैं।

आजरबैजान और आर्मीनिया की सेनाओं के बीच हालिया लड़ाई 27 सितंबर को शुरू हुई थी और नागोर्नो-काराबाख को लेकर इस संघर्ष में सैकड़ों लोगों की मौत हो गई है। यह इलाका आजरबैजान में आता है, लेकिन इस पर आर्मीनिया समर्थित आर्मीनियाई जातीय समूहों का नियंत्रण है। रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के हस्तक्षेप के बाद आर्मीनिया और अजरबैजान के विदेश मंत्रियों ने मॉस्को में एक संघर्षविराम समझौते पर हस्ताक्षर किए थे। रूसी विदेश मंत्री सर्गेई लावरोव की देखरेख में मास्को में वार्ता के बाद शनिवार दोपहर को संघर्षविराम प्रभावी हुआ था।

राजकीय संप्रेक्षण गृह की बड़ी लापरवाही उजागर , चौक में बाल अपचारी की मौत, मच गया हड़कंप

Related Articles

Back to top button