स्पोर्ट्स डेस्क : बीसीसीआई ने कोरोना से आर्थिक नुकसान के शिकार प्लेयर्स को मुआवजा दिलाने के लिए बनी सात मेंबर्स की समिति मे पूर्व भारतीय कप्तान मोहम्मद अजहरुद्दीन भी है. इस समिति में देश के सभी छह जोन के प्रतिनिधि यानि संतोष मेनन (साउथ जोन), रोहन जेटली (नॉर्थ जोन), अभिषेक डालमिया (ईस्ट जोन), युधवीर सिंह (सेंट्रल जोन) और देवजीत सैकिया (नॉर्थ-ईस्ट जोन) भी हैं.
बीसीसीआई सचिव जय शाह ने एक प्रेस विज्ञप्ति में बोला कि, अपेक्स काउंसिल ने एक समिति बनाने का फैसला किया है, जो 2020 और 2021 के प्लेयर्स को मुआवजा देने के विषय पर गौर करेगी. अपेक्स काउंसिल ने बीसीसीआई के पदाधिकारियों को समिति बनाने और घरेलू प्लेयर्स के लिए जल्द से जल्द एक ऐसा उपाय खोजने को बोला था, जिससे उन्हें मुआवजा मिल सके.
वैसे बीसीसीआई पिछले वर्ष कोरोना के चलते केवल विजय हजारे ट्रॉफी और सैयद मुश्ताक अली ट्रॉफी ही आयोजित करा सकी थी और एक घरेलू प्लेयर हर सीजन 15-16 लाख रुपये कमाता है. पिछले साल कोरोना के चलते 87 सालों के इतिहास में पहली बार रणजी ट्रॉफी को कैंसिल करना पड़ा था और लिमिटेड ओवर के टूर्नामेंट ही खेले गये थे.
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वही बीसीसीआई के घरेलू सत्र 2021-22 के कार्यक्रम के अनुसार इस सीजन के मैच सितंबर में होंगे. महिलाओं, पुरुषों और अलग-अलग आयु वर्ग के मैचों को मिलाकर इस सीजन 2127 मैच होंगे. बीसीसीआई अध्यक्ष सौरव गांगुली ने पिछले हफ्ते पत्रकारों से बात करते हुए बोला था, हम बायो-बबल बनाएंगे. हमने विजय हजारे ट्रॉफी और सैयद मुश्ताक अली ट्रॉफी के लिए बबल बनाये थे. अब हम इसे फिर से दोहराएंगे, क्योंकि बिना बायो-बबल के क्रिकेट नहीं कराया जा सकता है.