दादा-दादी से मिलने के लिए निकली अनाथ लड़की, 8 दिनों के बाद कर्नाटक में मिली
कर्नाटक पुलिस ने बेंगलुरु में अपने रिश्तेदार के घर से लापता होने के 8 दिन बाद एक 15 वर्षीय लड़की का पता लगाने में कामयाबी हासिल की। पुलिस सूत्रों ने गुरुवार को यह जानकारी दी। जिस लड़की के माता-पिता की मृत्यु हो चुकी है। उसको अपने दादा-दादी से बहुत लगाव था उन्हें देखने के लिए पैदल ही निकल पड़ी।
नाबालिग लड़की के दादा-दादी बेंगलुरु से करीब 270 किलोमीटर दूर मदिकेरी जिले में रहते थे। पुलिस ने 250 से अधिक स्थानों से सीसीटीवी फुटेज हासिल की लड़की को ट्रैक करने उसे उसके परिवार के साथ फिर से मिलाने में कामयाब रही। लड़की को उसके नाना-नानी ने मदिकेरी के पास एक गांव में पाला था। उन्हें शिक्षा के लिए उनके रिश्तेदार के घर बेंगलुरु भेजा गया था। लड़की अपने दादा-दादी से जुड़ी हुई थी उनके साथ रहना चाहती थी। जब उसने अपने रिश्तेदारों को बताया, तो उन्होंने उसे पहले अपनी पढ़ाई पूरी करने के लिए कहा।
फिर लड़की ने अपने दादा-दादी के पास अकेले पहुंचने का फैसला किया बिना पैसे या सामान के पैदल ही निकल पड़ी। पुलिस ने कहा कि वह 21 अगस्त की सुबह बनशंकरी इलाके में अपने रिश्तेदार के घर से निकली थी। वह केंगेरी के पास मैसूरु रोड पहुंची, जो मदिकेरी शहर की ओर भी जाती है। हालांकि, वह यहां रास्ता भटक गई पास के एक गांव कोम्मघट्टा पहुंच गई।
दो बेटियों वाली एक बुजुर्ग महिला ने पानी मांगा तो लड़की से बात की उसकी कहानी सुनी। महिला ने उसे रुकने के लिए कहा लड़की ने उनसे पुलिस को सूचित ना करने का अनुरोध किया। मामला दर्ज करने वाली बनशंकरी पुलिस ने सीसीटीवी फुटेज से उसे मैसूर रोड की ओर जाते हुए देखा। उसकी तस्वीरों की मदद से वे लड़की को ट्रैक करने में सफल रहे।
नाबालिग बच्ची को रिहैबिलिटेशन सेंटर भेज दिया गया है। बाद में बाल कल्याण समिति के सदस्यों की मदद से बच्ची को उसके दादा-दादी को सौंप दिया गया, जो उसे अपने साथ ले गए।