शरीर में अलग तरह से काम करता है जांघों में जमा फैट
लंबी और सेहतमंद जिंदगी के लिए लोग हर संभव प्रयास करते हैं. खान-पान से लेकर रहन-सहन के तौर-तरीकों में बदलाव के बावजूद उनकी ये ख्वाहिश पूरी नहीं हो पाती है. क्या आप जानते हैं इंसान की लंबी उम्र के पीछे उसकी बॉडी के आकार की भी अहम भूमिका होती है. एक एक्सपर्ट का दावा है कि मोटी जांघें और घुमावदार कूल्हे इंसान की उम्र बढ़ाने में मददगार साबित हो सकते हैं. डॉक्टर ने मिडिल बॉडी के लिए पीच शेप यानी आड़ू के आकार को बेहतर बताया है. आड़ू शेप वाले लोगों में शरीर के ऊपरी हिस्से की तुलना में निचला हिस्सा ज्यादा चौड़ा होता है.
टिक-टॉक पर एक वीडियो पोस्ट करते हुए ब्रिटेन के एनएचएस (नेशनल हेल्थ सर्विस) के डॉक्टर करन राजन ने कहा, ‘रिसर्च कहती हैं कि पेट या आंतों की बजाए ग्लूटोफेमोरल एरिया में फैट जमा होने से कार्डियोवस्क्यूलर डिसीज यानी दिल की बीमारियों और मेटाबॉलिक डिसीज का खतरा कम होता है.’ डॉक्टर करन ने बताया कि ये दोनों तरह के फैट शरीर में अलग तरह से काम करते हैं.
एक्सपर्ट ने कहा, ‘आंतों में जमा फैट अंगों को चारों तरफ से लपेट सकता है और साइटोकिन्स-फैटी एसिड को रिलीज कर सकता है जो इन्फ्लेमेशन का कारण बनते हैं. इससे शरीर में हार्ट (हृदय) समेत कई मुख्य अंग भी डैमेज हो सकते हैं. जबकि ग्लूटोफेमोरल फैट आमतौर पर स्किन के अंदर ही फैलता है.’
‘दरअसल शरीर के इस हिस्से में फैट एक स्पॉन्ज की तरह काम करता है. यह फैटी एसिड को स्टोर कर सकता है और शरीर के अंदरूनी हिस्सों में उसे फैलने से रोक सकता है. इसलिए मोटी जांघें इंसान की उम्र बढ़ाने में बहुत फायदेमंद साबित हो सकती हैं.’ कमेंट्स सेक्शन में डॉक्टर करन ने ये भी बताया है कि ग्लूटोफेमोरल एरिया में जमा फैट एक सबएटोमिक पार्टिकल लेप्टन को रिलीज करता है, जो कि भूख और वजन दोनों को रेगुलेट करता है.
पिछले साल ‘एक्सपर्ट्स इन चाइना’ में प्रकाशित एक रिपोर्ट में भी ऐसा दावा किया गया था कि बड़ी जांघों वाले लोगों में दिल से जुड़ी बीमारियों का खतरा कम रहता है. कमजोर जांघ वालों की तुलना में बड़ी जांघों वालों में ब्लड प्रेशर से जुड़ी दिक्कतें भी कम देखी गई थीं. यह स्टडी ऐसे 5000 लोगों पर आधारित थी जो ओवरवेट या मोटापे की समस्या से जूझ रहे थे.
इस स्टडी में शोधकर्ताओं ने पाया कि ज्यादा वजन वाले जिन पुरुषों और महिलाओं की जांघें क्रमश: 55 सेंटीमीटर और 54 सेंटीमीटर से ज्यादा थीं, उनका ब्लड प्रेशर लेवल लो था. बता दें कि हाई ब्लड प्रेशर हार्ट डिसीज, स्ट्रोक, किडनी डिसीज और हार्ट फेलियर की मुख्य वजह होता है. स्टडी के लेखक डॉ. झेन यांग का दावा है कि पेट की चर्बी के विपरीत जांघों में जमा फैट मेटाबलिज्म के लिए फायदेमंद होता है.