रूस ने यूक्रेन संकट पर भारतीय मीडिया की कवरेज को बताया पक्षपाती, आखिर क्यों
नई दिल्ली । रूस ने यूक्रेन में चल रहे संघर्ष को लेकर भारतीय मीडिया कवरेज को ‘पक्षपातपूर्ण और भ्रामक’ बताया है और उसे सटीक जानकारी प्रदान करने का आग्रह किया है। रूस-यूक्रेन युद्ध की कवरेज को लेकर भारत में स्थित रूसी दूतावास ने भारतीय मीडिया से नाराजगी जताते हुए उससे सटीक और निष्पक्ष सूचनाएं देने का अनुरोध किया है।
रूसी दूतावास ट्वीट करते हुए कहा कि यूक्रेन में संकट के संबंध में भारतीय मीडिया से सटीक होने का अनुरोध किया जाता है ताकि भारतीय जनता को ‘ऑब्जेक्टिव इन्फॉर्मेशन’ मिल सके। दूतावास ने कहा कि रूस ने यूक्रेन और उसके लोगों के खिलाफ युद्ध नहीं छेड़ा है। यह यूक्रेन के डोनबास में आठ साल के युद्ध को खत्म करने के लिए चलाया जा रहा खास ‘सैन्य अभियान’ है। इसका मकसद यूक्रेन के सैन्यीकरण और नाजीकरण को खत्म करना है।
इसने उन भारतीय मीडिया रिपोर्ट्स की ओर भी इशारा किया, जिनमें यूक्रेन में परमाणु साइटों को असुरक्षित कहा जा रहा है। दूतावास ने सफाई देते हुए कहा कि रूस ने बार-बार पहल की और बातचीत और वार्ता के लिए अपनी तत्परता का संकेत दिया है। बयान में यह भी बताया गया है कि यूक्रेन में परमाणु स्थल सुरक्षित हैं। इसकी पुष्टि अंतरराष्ट्रीय परमाणु ऊर्जा एजेंसी ने भी की है।
भारतीय मीडिया ने कथित तौर पर कीव में रेडियोधर्मी कचरा-निपटान स्थल और चेरनोबिल परमाणु ऊर्जा संयंत्र पर हमलों की सूचना दी थी। यहां तक कि आईएईए के महानिदेशक राफेल मारियानो ग्रॉसी ने भी इस पर टिप्पणी करते हुए कहा है कि इस तरह की घटनाएं बहुत वास्तविक जोखिम को उजागर करती हैं।
रूस ने कहा कि इसके उलट दी जा रही कोई भी जानकारी पक्षपाती और भ्रामक है। इस बीच, रूस ने अब तक किसी भी मीडिया संगठन को 24 फरवरी को शुरू हुए संघर्ष को कवर करने के लिए देश का दौरा करने की अनुमति नहीं दी है, जब रूसी सैनिकों ने यूक्रेनी क्षेत्र में प्रवेश करना शुरू कर दिया था।