आज के लोगों में इम्यूनिटी यानी रोग प्रतिरोधक क्षमता की काफी कमी देखने को मिलती है। जब बच्चा जन्म लेता हो तब से ही उसकी शारीरिक हरकतों के देखतर पता लग जाता है कि उसके अंदर इम्यूनिटी कितनी है या कितनी कम। कई बच्चे ऐसे बोते हैं जो छोटी-छोटी बीमारी के बाद खुद को संभाल लेते हैं। लेकिन कई बच्चे ऐसे भी होते हैं जो हल्का सा जुकाम होने पर भी कमजोर हो जाते हैं। ऐसे में जरूरत है कि बच्चों में जन्म से ही इम्यूमिटी लेवर ठीक रहें। इसलिए आज हम आपको बताने जा रहे हैं कि आप ऐसा क्या खाएं जिसकी मदद से आपके शरीर का रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ जाए।
हर्बल काढ़ा
सामग्री
छोटी इलायची 2
काली मिर्च 2-3 दाने
2 छोटे टुकड़े दालचीनी
8-10 तुलसी की पत्तियां
एक छोटा टुकड़ा अदरक
एक मीडियम चम्मच शहद
विधि
सबसे पहले किसी बर्तन में डेढ़ ग्लास पानी ले लें और इसे आंच पर चढ़ा दें।
काली मिर्च को दरदरा पीस लें और इलायची के दाने निकाल लें।
अदरक को छोटे टुकड़ों में काट लें या घिस कर रख लें।
तुलसी की पत्तियों को अच्छी तरह धो लें।
जब पानी उबलने लगे, तो उसमें शहद को छोड़कर सभी सामग्रियां डाल दें।
7-8 मिनट तक धीमी आंच पर पकने दें, ताकि सभी आयुर्वेदिक सामग्रियों का अर्क निकल जाए।
अब गैस बंद कर दें और बचे काढ़े को किसी ग्लास या कप में छान लें।
इसमें एक मीडियम चम्मच शहद मिलाकर इसे पिएं।
हर्बल काढ़ा
इस काढ़े को बनाना आसान है क्योंकि इसमें ऐसी चीजों का ही इस्तेमाल होता है, जो आपके किचन में पहले से मौजूद हैं। मगर ये काढ़ा बहुत फायदेमंद होता है क्योंकि ये आपके शरीर की इम्यूनिटी बढ़ाता है और सभी प्रकार के रोगों से रक्षा करता है। दरअसल इलायची में पाया जाने वाला तेल पाचन को बेहतर रखने में मददगार होता है। दालचीनी में पाए जाने वाले यूजेनाल और सिनेमेल्डीहाइड दर्दनिवारक की तरह काम करते हैं। दालचीनी खून का बहाव और थक्का जमने की प्रक्रिया ठीक रखती है और जलन को दूर करती है। इसके अलावा दालचीनी डायबिटीज के इलाज में भी कारगर है। सर्दी-जुकाम और बुखार को दूर करने में तुलसी का कोई जवाब नहीं। काली मिर्च में पाइपरीन नामक तत्व पाया जाता है जो मेटाबोलिज्म को बढ़ाता है और पाचन तंत्र को ठीक रखता है। इसके सेवन से कब्ज नहीं होता और पेट को भी काफी आराम मिलता है।