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G20 अब हुआ G21, अफ्रीकिन यूनियन को मिली सदस्यता, अपने संबोधन में बोले PM मोदी- अब सबको साथ मिलकर होगा चलना

नई दिल्ली. जहां एक तरफ दुनिया के 20 शक्तिशाली देशों के ग्रुप जी20 ग्रुप इस समय भारत का मेहमान है। वहीं आज से दो दिवसीय G20 सम्मेलन (G20 Summit) की शुरुआत हो चुकी है। जी हां, आज G20 शिखर सम्मेलन में 9 सितंबर का कार्यक्रम सुबह 9।30 बजे से शुरू हुआ है। वहीं दो दिवसीय G20 सम्मेलन का पहला सेशन ‘वन अर्थ’ थीम पर आधारित है। जी20 समिट का दूसरा सेशन ‘वन फैमिली’ पर आधारित है।

इसके साथ ही आज G20 शिखर सम्मेलन के पहले दिन पहले सेशन की शुरुआत हो चुकी है। आज प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी वैश्विक नेताओं का स्वागत किया। वहीं प्रधानमंत्री मोदी अपना संबोधन कर रहे हैं। इसके बाद बारी-बारी सभी नेता अपनी बात रखना शुरू करेंगे। आज प्रधानमंत्री ने कहा कि, “जी20 की कार्यवाही शुरू करने से पहले, मैं मोरक्को में भूकंप के कारण हुई जानमाल के नुकसान पर अपनी संवेदना व्यक्त करना चाहता हूं। हम प्रार्थना करते हैं कि सभी घायल जल्द से जल्द स्वस्थ्य हों। भारत इस कठिन समय में मोरक्को को हर संभव सहायता देने के लिए तैयार है।”

इसके बाद उन्होंने कहा कि, “आप सबकी सहमती से आगे की कार्रवाई शुरू करने से पहले मैं अफ्रीकन यूनियन अध्यक्ष को G 20 के स्थाई सदस्य के रूप में अपना स्थान ग्रहण करने के लिए आमंत्रित करता हूं।” इसके साथ ही अज PM मोदी ने अफ्रीकन यूनियन को G20 का परमानेंट मेंबर बनाने का प्रस्ताव पास किया। इस पर समिट में पहुंचे अफ्रीकन यूनियन के हेड ने अजाली असोमानी ने PM को गले लगा लिया।वहीं अब से G20 को G21 कहा जाएगा। अफ्रीकन यूनियन को स्थाई सदस्यता मिल गई है। भारत ने खुद को ग्लोबल साउथ के लीडर के तौर पर स्थापित किया। अफ्रीकन यूनियन में 55 देश शामिल है।PM ने अपने भाषण में ये भी कहा कि, विश्व में विश्वास का संकट पैदा हो गया है। 21वीं सदी दुनिया को नई दिशा देने वाली है।

उन्होंने आगे कहा कि, “कोरोना के बाद विश्व में एक बहुत बड़ा संकट विश्वास के आभाव का आया है। युद्ध ने इसको और गहरा किया है। जब हम कोविड को हरा सकते हैं तो हम आपसी विश्वास में आए इस संकट पर भी विजय प्राप्त कर सकते हैं।यह हम सबका साथ चलने का समय है इसलिए सबका साथ, सबका विकास, सबका विश्वास और सबका प्रयास का मंत्र हम सबके लिए पथ प्रदर्शक बन सकता है। वैश्विव अर्थव्यवस्था में उथल-पुथल हो, उत्तर और दक्षिण में डिवाइड हो, पूर्व और पश्चिम की दूरी हो, भोजन, ईंधन और उर्वरक का प्रबंधन हो, आतंकवाद साइबर सुरक्षा, स्वास्थ्य, ऊर्जा या जल सुरक्षा, हमें भावी पीढ़ियों के लिए इसका ठोस समाधान ढूंढना होगा।”

गौरतलब है कि, G20 की इस बेहद अहम समिट में कुछ अहम देशों के राष्ट्राध्यक्ष शामिल नहीं हो रहे हैं। इनमें चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग, रूस के राष्ट्रपति व्लादिमिर पुतिन शामिल हैं। इसके अलावा स्पेन के सांचेज भी इस समिट में शामिल नहीं हो सकेंगे। उन्हें कोरोना पॉजिटिव पाया गया है।

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