देहरादून (गौरव ममगाईं)। जेडीयू सुप्रीमो और बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने एक कदम क्या उठाया, यहां बिहार से लेकर देश की राजनीति ने बड़ी करवट लेनी शुरू कर दी। नीतीश कुमार बिहार की मौजूदा सरकार को भंग करके भाजपा के साथ सरकार बनाने की तैयारी में हैं। नीतीश के इस फैसले से पक्ष-विपक्ष के राजनीतिक समीकरण पूरी तरह से बदलने के आसार हैं। चलिए आइए जानते हैं नीतीश कुमार फैक्टर को क्यों बिहार व देश की राजनीति के लिहाज से सबसे महत्वपूर्ण माना जा रहा है ?
नंबर 1 –
बिहार में नीतीश के नेतृत्व में बनेगी नई सरकार
नीतीश कुमार बिहार की मौजूदा महागठबंधन वाली सरकार से इस्तीफा दे रहे हैं। इस सरकार में नीतीश की जेडीयू के साथ डिप्टी सीएम तेजस्वी यादव की आरजेडी, कांग्रेस, लेफ्ट पार्टी शामिल थी। अब नए घटनाक्रम के बाद नीतीश की जेडीयू भाजपा के साथ मिलकर सरकार बनाएगी। सरकार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के ही बनने की संभावना है।
नंबर 2-
इंडिया गठबंधन को बड़ा झटका
वैसे तो विपक्ष के इंडिया गठबंधन में करीब 26 पार्टियां हैं, लेकिन नीतीश कुमार के जाने से इस गठबंधन को बड़ा झटका लगना तय है। वो इसलिए क्योंकि इंडिया गठबंधन की नींव रखने वाले नीतीश कुमार ही थे। नीतीश कुमार को गठबंधन के मुख्य नेता के रूप में माना जाता रहा है। यहां तक कि कई बार तो नीतीश को पीएम कैंडिडेट के लिए भी योग्य ठहराया गया है। वहीं, अब विपक्षी गठबंधन की पार्टियों के जीत के अरमानों पर भी पानी फिरता दिख रहा है। साथ ही इंडिया के सूत्रधार के जाने के बाद गठबंधन की वैधानिकता पर भी सवाल उठना स्वाभाविक है।
नंबर 3-
पीएम मोदी की हैट्रिक का रास्ता होगा साफ
नीतीश कुमार की गिनती देश के शीर्ष नेताओं में की जाती है। उनका बिहार के अलावा यूपी, मध्य प्रदेश समेत अनेक राज्यों में ओबीसी वर्ग में खासा जनाधार माना जाता है। ऐसे में नीतीश के साथ आने से भाजपा को बिहार में तो मजबूती मिलेगी ही, साथ ही हिंदी बैल्ट राज्यों में भी पिछली बार की तरह प्रदर्शन को दोहराया जा सकेगा।
नंबर 4-
राहुल गांधी की यात्रा पर 2 दिन का लगा ब्रेक
दरअसल, राहुल गांधी की भारत जोड़ो यात्रा पश्चिम बंगाल में पहुंच चुकी है। अचानक नीतीश के इस फैसले के बाद राहुल गांधी ने अपनी यात्रा को अचानक 2 दिन के लिए रोक दिया है। राहुल गांधी सीधे दिल्ली के लिए रवाना हो गए हैं। माना जा रहा है कि राहुल गांधी इंडिया गठबंधन की अन्य पार्टियों के साथ आगे की रणनीति पर चर्चा कर सकते हैं।
नंबर 5-
बिहार में यात्रा के दौरान आमने-सामने होंगे राहुल-नीतीश
पिछले कुछ घंटों में हुए राजनीतिक घटनाक्रमों ने सबकुछ बदलकर रख दिया। अब अगले 3-4 दिनों के बाद राहुल की भारत जोड़ो न्याय यात्रा बिहार में प्रवेश करेगी। ऐसे में इंडिया गठंबधन से अलग हो चुके नीतीश कुमार अब राहुल की यात्रा में शामिल नहीं होंगे। खास बात ये होगी कि अब तक जो नीतीश, राहुल के साथ दिखते थे, वो अब राहुल के खिलाफ खड़े होते नजर आएंगे। वहीं, राहुल की यात्रा में आरजेडी प्रमुख लालू प्रसाद यादव व तेजस्वी यादव भी साथ होंगे। ऐसे में सबकी निगाहें इस पर टिकी रहेंगी कि बिहार में राहुल की यात्रा को लेकर नीतीश कुमार किस तरह का रूख दिखाएंगे।
भले ही नीतीश कुमार को राजनीति में पलटने वाले नेता के रूप में जाना जाने लगा है, लेकिन राजनीति में नीतीश कुमार के कद को नकारा नहीं जा सकता, क्योंकि नीतीश कुमार ने दिखाया है कि बिहार विधानसभा में तीसरी बड़ी पार्टी रहने के बावजूद किस तरह अलग-अलग गठबंधन में रहकर न सिर्फ सरकार चलाई जा सकती है, बल्कि उस सरकार का नेतृत्व भी खुद किया जा सकता है। नीतीश कुमार ने साबित किया है कि बात बिहार की हो या राष्ट्रीय राजनीति की, वो जहां भी रहेंगे, उसका पलड़ा भारी ही रहने वाला है।