ब्रिटिश सरकार के नए फैसले से भारतीयों पर गिरी गाज, शादियों पर लग गया ब्रेक
नई दिल्ली: ब्रिटिश सरकार ने अप्रवासियों की संख्या कम करने के लिए सख्त कदम उठाने का ऐलान किया है। इसके तहत पारिवारिक वीजा के लिए न्यूनतम आय सीमा 19.5 लाख रुपए से बढ़ाकर करीब 40.6 लाख रुपए कर दी जाएगी। इस फैसले का सीधा असर 20 लाख ब्रिटिश भारतीयों पर पड़ रहा है जिससे हजारों भारतीयों की शादी की योजना पर ब्रेक लग गया है। कई लोगों ने कहा कि उनके परिवार के सदस्य अब ब्रिटेन में एक साथ नहीं रह पाएंगे। सबसे बड़ा प्रभाव नर्सों जैसे देखभाल कर्मियों पर पड़ता है, जो अकेले रह रहे हैं। मैनचेस्टर में ब्रिटिश-भारतीय शोधकर्ता हरतोष सिन्हा ने कहा कि वह दिल्ली में रहने वाली मंजूषा से शादी करने की तैयारी कर रहे थे। उनकी आय मात्र 26 लाख है। ऐसे में मंजूषा से शादी का सपना टूट गया है।
ब्रिटिश नागरिक जैसिंडा मैथ्यूज अपने भारतीय पति के साथ बेंगलुरु में रहती हैं। वह अपने माता-पिता के साथ रहने के लिए ब्रिटेन जाने की सोच रही थी लेकिन 38 लाख रुपए में लैब असिस्टेंट की नौकरी पाना असंभव है। ब्रिटिश एसोसिएशन ऑफ फिजिशियन ऑफ इंडियन ओरिजिन (BAPIO), जो बड़ी संख्या में भारतीय मूल के चिकित्सा पेशेवरों का प्रतिनिधित्व करता है, ने सुनक सरकार को पत्र लिखा है जिसमें कहा गया है: ‘विदेशी देखभाल कर्मियों को अपने आश्रितों को ब्रिटेन लाने से रोकने की योजना हमारे सदस्यों के लिए बेहद चिंताजनक और परेशान करने वाली है। ब्रिटेन में लगभग आधे कार्य वीज़ा स्वास्थ्य और देखभाल कर्मियों को मिलते हैं। कम वेतन के कारण उनके पास अपने परिवार को साथ लाने का विकल्प नहीं होगा।
ऑक्सफ़ोर्ड यूनिवर्सिटी में माइग्रेशन ऑब्ज़र्वेटरी के निदेशक डॉ मेडेलीन सुम्पशन ने कहा: ‘अलग-अलग देशों में रहने वाले परिवार के सदस्यों से लोग बुरी तरह प्रभावित हो सकते हैं। चिंता की बात यह भी है कि पिछले कुछ सालों में लोगों की आय और मजदूरी में बढ़ोतरी नहीं हुई है। इन परिस्थितियों में, आय सीमा की आवश्यकता को दोगुना से अधिक करने का कोई मतलब नहीं है। इसका सबसे अधिक प्रभाव कम आय वाले ब्रिटिश नागरिकों और विशेष रूप से महिलाओं और युवाओं पर पड़ेगा, जिन्हें कम वेतन मिलता है। विपक्षी लेबर पार्टी ने भी इस मुद्दे को उठाया और सरकार से इस पर पुनर्विचार करने को कहा। ब्रिटिश निवासी पारिवारिक वीजा श्रेणी के तहत अपने जीवनसाथी के साथ आने के लिए आवेदन कर सकते हैं। यही कारण है कि NRI विवाह योजनाओं के साथ-साथ इसके लिए भी आवेदन करते हैं।
पिछले साल 5,870 भारतीयों को पारिवारिक वीजा दिया गया था। तब न्यूनतम वार्षिक आय 19.54 लाख रुपए थी। ब्रिटिश गृह सचिव जेम्स क्लेवरली ने कहा कि इस वीजा के लिए आय सीमा बढ़ाकर हम यह सुनिश्चित करेंगे कि लोग केवल उन आश्रितों को लाएं जिन्हें वे आर्थिक रूप से सहायता कर सकें। बढ़ोतरी जरूरी थी क्योंकि 2012 के बाद से आय सीमा नहीं बढ़ाई गई थी। ऑस्ट्रेलिया, अमेरिका, जर्मनी सहित कई पश्चिमी देशों में अप्रवासियों के लिए पारिवारिक वीजा के लिए आवेदन करने के लिए कोई न्यूनतम आय की आवश्यकता नहीं है। इन देशों की वीजा नीति कहती है कि कोई भी कुशल कामगार अपने परिवार के सदस्यों को आमंत्रित कर सकता है, बशर्ते वह उनकी वित्तीय जरूरतों को पूरा करने में पूरी तरह सक्षम हो।