ईरान-इजराइल के युद्ध से बढ़ी टेंशन, जानिए दुनिया पर कितना पड़ेगा असर
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इंटरनेशनल डेस्कः शनिवार की रात ईरान ने विस्फोटकों से भरी मिसाइलों और ड्रोन से इजराइल पर हमला कर दिया। ईरान ने इजराइल पर 300 से अधिक ड्रोन और मिसाइलें दागीं। मिसाइल ने इजराइल की रक्षा प्रणाली आयरन डोम को भी नष्ट कर दिया। ईरान के इस हमले से तीसरे विश्व युद्ध की आशंका पैदा हो गई है। ईरान ने कहा कि उसने यह हमला सीरिया में उसके वाणिज्य दूतावास पर एक अप्रैल हुए हमले के जवाब में किया। उधर, अमेरिका ने इजराइल का साथ देने का वादा किया है। विश्व के विभिन्न देश जंग में अलग-अलग हिस्सों में बंटते दिख रहे हैं। इसका दुनिया की अर्थव्यस्था पर असर दिखने लगा है।
ईरान के अभूतपूर्व हमले ने दुनिया भर में चिंता पैदा कर दी है और पश्चिमी देशों ने हमले की निंदा की है और इस डर से तत्काल संयम बरतने का आह्वान किया है कि संघर्ष मध्य पूर्व से आगे बढ़ सकता है। यदि यह संघर्ष बढ़ता है, तो तेल संकट से लेकर महंगाई जैसी समस्या से पूरी दुनिया घिर जाएगा।
पूरी दुनिया में फिलहाल तीन मोर्चे पर युद्ध चल रहा है। पहला युद्ध यूक्रन और रूस के बीच चल रहा है। रूस और यूक्रेन के बीच युद्ध के कारण पूरी दुनिया में अनाज का संकट है। बड़ी मात्रा में कई देशों में आर्थिक प्रतिबंध भी लगे हैं। वहीं, दूसरा युद्ध हमास और इजराइल के बीच चल रहा है। हमास और इजराइल के बीच जंग के दौरान हूती के हमले से विश्व व्यापार पर ही खतरा पैदा कर दिया था। अब ईरान और इजराइल के बीच जंग ने दुनिया में फिर से महंगाई बढ़ने की आशंका पैदा कर दी है। जंग से तेल की कीमतों में इजाफा की आशंका जताई रही है। आशंका है कि तेल की कीमत 100 डॉलर बैरल तक पहुंच सकती है। इससे विभिन्न देशों में महंगाई बढ़ेगी।
वहीं जी-7 देशों के नेताओं ने इजराइल के खिलाफ ईरान के सीधे और अप्रत्याशित हमलों की कड़े शब्दों में निंदा करते हुए रविवार को कहा कि इस घटनाक्रम के कारण क्षेत्र में अनियंत्रित तनाव बढ़ने का खतरा है। संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद ने इन हमलों के मद्देनजर एक आपातकालीन बैठक बुलाने का फैसला किया है ताकि इस मामले पर चर्चा की जा सके।
जी-7 देशों के नेताओं ने राष्ट्रपति जो बाइडन द्वारा की गई कॉन्फ्रेंस कॉल के बाद एक संयुक्त बयान में कहा, ‘‘अपने इन कदमों के जरिए ईरान ने क्षेत्र को अस्थिर करने की दिशा में कदम बढ़ाया है और एक अनियंत्रित क्षेत्रीय तनाव को भड़काने का जोखिम पैदा किया है। इससे बचना चाहिए। हम स्थिति को स्थिर करने और तनाव बढ़ने से रोकने के लिए काम करना जारी रखेंगे।” ईरान द्वारा इजराइल पर शनिवार को किए गए हमले के एक दिन बाद जारी बयान में कहा गया, ‘‘हम मांग करते हैं कि ईरान और उसके छद्म सहयोगी अपने हमले बंद करें और हम अस्थिर करने वाली और पहल के जवाब में आगे कार्रवाई करने के लिए तैयार हैं।” जी-7 समूह में अमेरिका, इटली, जापान, जर्मनी, फ्रांस, ब्रिटेन और कनाडा शामिल हैं।
समूह ने इजराइल एवं उसके लोगों के प्रति पूर्ण एकजुटता एवं समर्थन व्यक्त किया और उसकी सुरक्षा के लिए अपनी प्रतिबद्धता की पुष्टि की। बाइडन ने इजराइल के खिलाफ ईरान के अप्रत्याशित हमले पर चर्चा करने के लिए जॉर्डन के शाह अब्दुल्ला द्वितीय से भी फोन पर बात की। ईरान द्वारा इजराइल के खिलाफ किए गए हवाई हमले पर सुरक्षा परिषद के सदस्य न्यूयॉर्क स्थित संयुक्त राष्ट्र मुख्यालय में एक आपातकालीन बैठक करेंगे। इजराइल ने इस बैठक का अनुरोध किया है जिसका एजेंडा, ‘‘पश्चिम एशिया में स्थिति” होगा।