पहली कैबिनेट में पी.एम. मोदी ने बंद लिफाफों में मंत्रियों को दी गई उनके विभागों की सूचना
नई दिल्ली: पी.एम.नरेंद्र मोदी की सियासत अंदाज ही अलग है। वह इस तरह की सियासत के माहिर है कि कुछ भी करें लेकिन दाएं हाथ की खबर बायें हाथ को समय आने पर ही पता चलती है। वह अपनी सरकार के फैसलों में बाहरी दखल को बिल्कुल पसंद नहीं करते हैं। एक मीडिया रिपोर्ट में कहा गया है कि इस बार उन्होंने नई कैबिनेट के बीच विभागों के बंटवारे को गुप्त रखने के लिए नया रास्ता अपनाया गया। मंत्रियों को जब पहली कैबिनेट मीटिंग के लिए बुलाया गया तब उन्हें लिफाफे थमाकर जानकारी दी गई कि उन्हें कौन सा विभाग मिला है।
सूत्रों के हवाले से रिपोर्ट में कहा गया है कि 30 कैबिनेट मंत्रियों को ही लिफाफे दिए गए जिनमें न केवल उनका अपना विभाग बताया गया था बल्कि उनके अधीनस्थ राज्य मंत्रियों के नाम भी लिखे थे। यही वजह है कि इस बार मीडिया में एक-एक करके मंत्रियों के विभागों की जानकारी सामने आ रही थी। जैसे-जैसे लिफाफे खुल रहे थे और मंत्री मीडिया को जानकारी दे रहे थे, वैसे-वैसे टेलीविजन चैनलों पर फ्लैश आ रहे थे।
2014 में लीक हो गई थी मंत्रालयों की सूचना
रिपोर्ट के मुताबिक पी.एम. नरेंद्र मोदी के पिछले दो कार्यकालों के दौरान राष्ट्रपति सचिवालय ने दोपहर तक सूचना जारी कर दी थी, लेकिन इस बार इंतजार लंबा था। दरअसल, 2014 में शपथ ग्रहण के दिन कई विभागों के बारे में जानकारी लीक हो गई थी। इसलिए इस बार कैबिनेट मीटिंग तक मीडिया को भी भनक तक नहीं लगी। नतीजतन, कैबिनेट मीटिंग समाप्त होने के बाद शाम 6.30 बजे के बाद टीवी स्क्रीन और वेबसाइटों पर नाम दिखाए जाने लगे।
शाम 7:30 बजे मंत्रियों की अंतिम सूची जारी की गई। सरकार पर नजर रखने वालों का कहना है कि यह शायद पहली बार है जब मंत्रियों को उनके विभागों के बारे में कागज पर लिखकर लिफाफे में रखा गया हो। यानी मोदी सरकार ने इस बार रेकॉर्ड बना दिया। मंत्रियों की अंतिम सूची शाम करीब 7.30 बजे सार्वजनिक की गई। उसी वक्त स्वतंत्र प्रभार वाले समेत राज्य मंत्रियों को उनके मंत्रालयों के बारे में पता चला।